बहन भाई के रिश्ते को खास अंदाज में मानाने के लिए हर साल हिंदू धर्म में रक्षाबंधन का तोहार धूमधाम से मनाया जाता है। यही वह स्पेशल दिन होता है जब बहनें आपने भाइयों की कलाई पर रक्षा का सूत्र बांधती हैं और उनकी लंबी उम्र की कामना करती हैं। जिसके बदले में भाई अपनी बहन की रक्षा करने का वचन देता है। वैसे कहने को बेशक ये बहन भाई का त्योहार हो, लेकिन इसको मानते हुए कुछ ऐसी बातें जिसको ध्यान में रखना बेहद जरूरी है, तो आइये जान लेते हैं उनके बारे में…
रक्षा सूत्र में बांधें तीन गांठ
रक्षाबंधन के खास अवसर पर जब बहनें अपने भाईयों की कलाई पर राखी बांधे तब उस समय गांठ बांधते समय कुछ जरूरी बातों को हमेशा ध्यान में रखना होता है कि भाई के माथे पर तिलक कैसे लगाया जाए या फिर राखी बांधते समय उसमें कितनी गांठ बांधनी चाहिए? कुछ लोगों को इस बारे में काफी अच्छे से मालूम हो लेकिन कि भाई की कलाई पर राखी बांधते समय कितनी गांठ बांधनी है, लेकिन इस बीच कुछ बहन ऐसी भी होंगी जो इन बातों से बिलकुल अनजान होंगी। तो इस राखी भाई को राखी बांधने के लिए रक्षा सूत्र में एक दो नहीं बल्कि पूरी तीन गांठ लगाएं।
भगवानों से है संबंध
राखी बांधते समय कलाई पर गांठ बांधते का धार्मिक महत्व है। कलाई पर बांधीं जाने वाली तीन गांठों का संबंध भगवानों से होता है। जी हां, इसका सीधा संबंध ब्रह्मा, विष्णु और महेश से है। हर गांठ इन भगवानों के नाम पर समर्पित होती है। वहीं, तीन गांठों को शुभ भी माना जाता है। इसके अलावा यह भी माना जाता है कि कलाई पर बांधे जाने वाली गांठों का संबंध भाई और बहस से भी है। राखी की पहली गांठ भाई की लंबी आयु के लिए, दूसरी गांठ बहन की लंबी आयु के लिए, तीसरी गांठ भाई बहन के रिश्ते में मिठास लाने और सुरक्षित रखने के लिए बांधी जाती है।