कोरोना काल में हुए बिहार विधानसभा चुनाव 2020 कई मायनों में अभूतपूर्व रहे हैं। इस चुनाव में लालू यादव के जेल में रहने के कारण राजद की कमान तेजस्वी ने संभाली तो राम विलास पासवान के निधन के कारण चिराग पासवान ने एक सधे हुए नेता की तरह इलेक्शन मैनेजमेंट किया। बाकी दलों का तो जो रहेगा सो रहेगा लेकिन इस बार की मतगणना बिहार के इन दोनों युवा नेताओं के भविष्य को भी स्पष्ट कर देगी। यह पहली बार है कि महिलाओं ने इस बार की वोटिंग में पुरुषों से ज्यादा भागीदारी की है।
पहले चरण को छोड़ दूसरे और तीसरे चरण महिला वोटरों का मतदान प्रतिशत पुरुषों के मुकाबले ज्यादा रहा है। पिछले चुनाव में पहली बार महिला मतदाता पुरुषों से आगे निकली थीं वहीं इस बार भी पहले चरण को छोड़ दें तो महिला मतदाता बाकी दोनों चरणों में मतदान करने में पुरुषों से आगे रही हैं। उत्तर बिहार, कोसी और सीमांचल के इलाके में महिला मतदाताओं की संख्या सबसे ज्यादा रही है।पिछले 2015 में हुए विधानसभा चुनाव के आंकड़ों के मुताबिक पिछले चुनाव में 10 ऐसी सीटें थी जहां 72 प्रतिशत से ज्यादा महिलाओं ने मतदान किया था जिनमें सबसे ज्यादा तीन तीन सीटें बीजेपी और जेडीयू के खाते में आई थी कुल 10 में से 2 सीटों पर कांग्रेस नेअपनी जीत दर्ज कराई थी आरजेडी और सीपीआई के खाते में एक-एक सीटें आई थी। उस चुनाव में महिलाओं का सबसे अधिक वोट प्रतिशत किशनगंज के ठाकुरगंज विधानसभा सीट पर रहा था जहां सबसे अधिक 77.15 प्रतिशत महिलाओं ने मतदान किया था वह सीट जेडीयू के खाते में गई थी इसके बाद कटिहार में 75.75 प्रतिशत महिलाओं ने वोट किए थे यह सीट बीजेपी के खाते में गई थी तीसरे नंबर पर कटिहार का बलरामपुर था जहां महिलाओं ने 74.60 प्रतिशत मतदान किया था यह सीट सीपीआई के खाते में गई थी।
इस बार भी उत्तर बिहार और सीमांचल की आधी सीटों पर महिलाओं का वोट प्रतिशत ज्यादा रहा है ऐसे में एनडीए को खासकर जेडीयू को इस इलाके से काफी उम्मीद है अब इनती उम्मीद पर कितना खरा उतरता है ये इलाका ये तो कल के मतगणना के बाद हीं स्पष्ट हो सकेगा।
पिछले 2015 के चुनाव के सीटों के आंकड़ों को पर अगर गौर करें तो सबसे ज्यादा महिला मतदाता किशनगंज के ठाकुरगंज विधानसभा क्षेत्र में थीं जहां 77.15 प्रतिशत महिलाओं ने मतदान किया था और यहां जेडीयू के कोटे में जीत आई थीं। वही कटिहार के प्राणपुर विधानसभा क्षेत्र में 7 5.70 महिलाओं ने वोट किए थे जहां से जीत बीजेपी के कोटे में आई थी। कटिहार के ही बलरामपुर में 74. 64 प्रतिशत महिला मतदान वाली सीट सीपीआई के खाते में आई थी वही पूर्णिया के बैसी में 74.59 प्रतिशत महिला मतदान वाली सीट राजद के खाते में आई थी। सुपौल के छातापुर की बात करें तो 73.86 प्रतिशत मतदान वाली सीट बीजेपी के कोटे में आई थी तो पूर्णिया के कस्बा की बात करें तो साथ 73.52 प्रतिशत मतदान वाली सीट कांग्रेस के खाते में आई थी किशनगंज के कोचाधामन की बात करें तो साथ 73.34 प्रतिशत मतदान वाली सीट जेडीयू के कोटे में आई थी तो अररिया के सिकटी की बात करें तो 72.62 प्रतिशत मतदान वाली सीट बीजेपी के कोटे में आई पश्चिम चंपारण के सिकटा की बात करें तो साथ 72.8 प्रतिशत मतदान वाली सीट जेडीयू के कोटे में आई तो कटिहार के कदवा की बात करें तो 72.21 प्रतिशत मतदान वाली सीट कांग्रेस के कोटे में आई थी।.
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