एसएफजे की जनमत संग्रह योजना को लेकर खुफिया एजेंसियां सतर्क

खालिस्तान समर्थक प्रतिबंधित संगठन सिख्स फॉर जस्टिस (एसएफजे) ने बुधवार को घोषणा की कि पंजाब में वह अपने अलगाववादी एजेंडे 'रेफरेंडम-2020' (जनमत संग्रह) के लिए घर-घर जाकर वोटरों का रजिस्ट्रेशन करेगा। इसके बाद भारतीय आतंकवाद-रोधी एजेंसियों ने विभिन्न राज्यों में कानून-प्रवर्तन एजेंसियों को अलर्ट कर दिया है।

अमेरिका स्थित एसएफजे ने नई रणनीति बनाई है, क्योंकि कनाडा और रूसी पोर्टलों पर इसके ऑनलाइन 'रेफरेंडम -2010' वोटरों को रिझा नहीं पाई। एक खुफिया अधिकारी और राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) के दो अधिकारियों ने नाम जाहिर न करने की शर्त पर यह जानकारी दी।

अलगाववादी एसएफजे मतदाता पंजीकरण अभियान के लिए अब 30 दिनों में पंजाब के 12,000 गांवों को कवर करने की योजना बना रहा है, जो 21 सितंबर से शुरू होगा। इसके लिए, उसने 1,000 योग्य 'रेफरेंडम एंबेसडर' की भर्ती करने की घोषणा की है, जो 'रेफरेंडम 2020' के लिए अपने संबंधित क्षेत्रों में मतदाताओं को पंजीकृत करेंगे।

एसएफजे ने इन सेवाओं के लिए इन तथाकथित प्रत्येक रेफरेंडम एंबेसडर को हर महीने 7,500 रुपये स्टाइपेंड देने का वादा किया है। इससे पहले, एसएफजे ने इस साल नवंबर में 'रेफरेंडम-2020' अभियान चलाने की घोषणा की थी।

एसएफजे के जनरल काउंसल गुरवंत सिंह पन्नून द्वारा बुधवार को घर-घर जाकर मतदाता पंजीकरण अभियान की घोषणा किए जाने के बाद भारतीय एजेंसियां सतर्क हो गईं। पन्नून ने कहा, "एसएफजे के मतदाता पंजीकरण वेबसाइटों और मोबाइल एप्लिकेशन तक पहुंच को अवरुद्ध करके, भारत पंजाब के लोगों को मताधिकार से वंचित कर रहा है।"

पन्नून ने कहा, "अब हम 'रेफरेंडम 2020' में लोगों की अधिकतम भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए घर-घर जाकर मतदाता पंजीकरण शुरू कर रहे हैं, जिसमें भारत से पंजाब को अलग करने का बुनियादी सवाल शामिल है।"

संगठन ने इस महीने की शुरुआत में अपने भारत-विरोधी अभियान 'रेफरेंडम -2020' के पहले पंजाब के किसानों को लुभाने के लिए 3,500 रुपये की पेशकश की थी। इसने अपनी रणनीति के तहत कृषि ऋण पर चूक वाले पंजाब के किसानों को मासिक आधार पर धन वितरित करने की घोषणा की थी।

एनआईए की सिफारिश के आधार पर, गृह मंत्रालय ने इस महीने की शुरुआत में एसएफजे के प्रमुख नेताओं-गुरपतवंत सिंह पन्नून और हरदीप सिंह निज्जर की संपत्तियों की कुर्की का आदेश दिया था। पन्नून एसएफजे का जनरल काउंसल है जबकि निज्जर 'रेफरेंडम 2020' के लिए कनाडा कोऑर्डिनेटर है।.

डॉ. शफी अयूब खान

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