Russia Ukraine War: रूस और यूक्रेन के बीच जंग अब तक खत्म नहीं हुई है। ऐसे में पिछले करीब डेढ़ साल से जंग लड़ रहे रूस ने इस महायुद्ध के लिए अपने खजाने का मुंह खोल दिया है। रूस ने साल 2023 के लिए अपने रक्षा खर्च को संशोधित करके उसे दोगुना कर दिया है। वहीं रूस का रक्षाखर्च 100 अरब डॉलर तक पहुंच गया है। यह उसके कुल सार्वजनिक खर्च का एक तिहाई है। रूस ने यह खर्च ऐसे समय पर बढ़ाया है जब यूक्रेन युद्ध में खर्च लगातार बढ़ता ही जा रहा है। इससे रूस की वित्तीय सेहत पर काफी असर पड़ा है। वहीं रूस के इस ऐलान से नाटो देशों की टेंशन बढ़ गई है। साल 2023 के पहले 6 महीने में रूस ने मूल लक्ष्य के मुकाबले 12 प्रतिशत ज्यादा रक्षा पर खर्च किया। रूसी सरकार की योजना है कि कुल फंड का 17.1 प्रतिशत ‘नेशनल डिफेंस’ के लिए खर्च किया जाए। युद्ध में बढ़ते खर्च ने रूस की अर्थव्यवस्था को गति दिया है और औद्योगिक उत्पादन तेजी से बढ़ा है। हालांकि निर्यात कम होने की वजह से रूस का बजट घाटा बढ़कर 28 अरब डॉलर हो गया है।
नाटो देश की टेंशन हुई टाइट
यूक्रेन युद्ध की वजह से रूस को स्कूल, अस्पताल और आधारभूत ढांचा परियोजनाओं पर खर्च को घटाना पड़ रहा है। रूस अब अपने हथियारों के निर्माण दर को बढ़ा रहा है। रूस के इस ऐलान से नाटो देशों की टेंशन बढ़ गई है। नाटो देशों के हथियारों का भंडार खाली हो रहा है। अमेरिका ने तो यूक्रेन को इसके लिए सुना भी दिया था। अब तक नाटो देश अरबों डॉलर के हथियारों की मदद कर चुके हैं। इस बीच रूसी अधिकारियों ने शनिवार को दावा किया कि यूक्रेनी ड्रोन हमले में कब्जे वाले क्रीमिया प्रायद्वीप के पास केर्च जलडमरूमध्य में एक टैंकर क्षतिग्रस्त हो गया।
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सरकारी टीएएसएस समाचार एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार, क्रीमिया के प्रमुख के रूस द्वारा नियुक्त सलाहकार ओलेग क्रायचकोव ने कहा कि शुक्रवार देर रात केर्च शहर के निवासियों ने विस्फोटों की आवाज सुनी। अपनी ओर से, नोवोरोसिस्क के समुद्री बचाव समन्वय केंद्र ने कहा कि तेज़ आवाज़ें रूस और कब्जे वाले क्रीमिया के बीच संकीर्ण समुद्री मार्ग, केर्च जलडमरूमध्य में यूक्रेनी सशस्त्र बलों द्वारा रूसी ध्वज वाले टैंकर पर हमले का परिणाम थीं।
यूक्रेन ने समुद्री ड्रोन का इस्तेमाल किया
हमले के परिणामस्वरूप, वाहनों का यातायात अस्थायी रूप से निलंबित कर दिया गया था, लेकिन यह फिर से शुरू हो गया है। ज़ापोरीज़िया सैन्य-नागरिक प्रशासन के एक वरिष्ठ रूसी-नियुक्त अधिकारी व्लादिमीर रोगोव ने दावा किया कि यूक्रेन ने टैंकर को निशाना बनाने के लिए समुद्री ड्रोन का इस्तेमाल किया था। गौरतलब है कि नौसेना ड्रोन, या समुद्री ड्रोन, छोटे, मानवरहित जहाज़ हैं, जो पानी की सतह पर या उसके नीचे काम करते हैं।
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