जम्मू-कश्मीर के ताज में पर बहुत जल्दी एक हीरा सजने वाला है। जी हां, इसे हीरा ही कहेंगे। जम्मू-कश्मीर में जी-20 देशों का शिखर सम्मेलन आयोजित होगा। इस शिखिर सम्मेलन की तैयारियां अभी से शुरू कर दी गई हैं। जी-20 दुनिया की प्रमुख अर्थव्यवस्था वाले देशों का समूह है। 5 अगस्त 2019 के बाद जम्मू-कश्मीर को अलग राज्य का दर्जा दिए जाने के बाद यह पहला अंतर्राष्ट्रीय शिखर सम्मेलन होगा। जम्मू-कश्मीर अभी केंद्र शासित प्रदेश है इसलिए श्रीनगर के साथ ही दिल्ली में भी इस शिखर सम्मेलन को लेकर हाई लेवल मीटिंग्स का दौर शुरू हो चुका है। जी-20 शिखर सम्मेलन की तैयारियों की जानकारी गुलाम कश्मीर (पीओके) तक भी पहुंचने लगी हैं। अब वहां के लोगों में खलबली इस बात को लेकर है कि अगर वो पाकिस्तान के कब्जे में न होते तो स्थानीय विकास में उनकी भी बराबर की हिस्सेदारी होती और वो भी इस आयोजन का हिस्सा कहलाते।
यह भी खबरें मिली हैं कि पाकिस्तान ने G-20 शिखर सम्मेलन का कश्मीर में आयोजन का विरोध किया, मगर अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर पाकिस्तान को पूरी तरह नकार दिया गया है। पाकिस्तान सीधे तौर पर कुछ नहीं कर पा रहा है, इसलिए अपने भाड़े के आतंकियों को भेजकर शांति भंग करने की कोशिश कर रहा है। भारतीय सुरक्षाबल पाकिस्तान की इस हरकत का माकूल जवाब दे रहे हैं। घाटी में ऑपरेशन ऑल आउट के तहत आतंकियों का सफाया जारी है।
पिछले साल सितंबर में, केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल को जी-20के लिए भारत का प्रतिनिधि नियुक्त किया गया था। विदेश मंत्रालय ने कहा था कि भारत एक दिसंबर, 2022से जी-20की अध्यक्षता करेगा और 2023में पहली बार जी-20नेताओं के शिखर सम्मेलन का आयोजन करेगा। एक आधिकारिक आदेश के अनुसार, केंद्र शासित प्रदेश के आवास एवं शहरी विकास विभाग के प्रधान सचिव समिति के अध्यक्ष होंगे।
ध्यान रहे, गत तीन वर्षों में जम्मू-कश्मीर ने अभूतपूर्व प्रगति की है। जम्मू-कश्मीर के इन्फ्रास्ट्रक्चर के साथ ही सरकार और स्थानीय जनता के बीच विश्वास की नई इबारत लिखी गई है। हालांकि, इस बीच पाकिस्तान ने आतंकियों की घुसपैठ की तमाम कोशिशें की हैं। तमाम पाकिस्तानी नागरिक घाटी में मारे भी गए हैं, लेकिन स्थानीय लोग सरकार के साथ कश्मीर के विकास में सहयोगी बन रहे हैं। जम्मू-कश्मीर की युवा प्रतिभाओं को राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर नई पहचान मिली है।
जी-20 शिखर सम्मेलन की तैयारियों के लिए पांच समितियों का गठन किया गया है। इन में परिवहन आयुक्त-सचिव, पर्यटन विभाग के प्रशासनिक सचिव, प्रशासनिक सचिव आतिथ्य एवं प्रोटोकॉल, सांस्कृति विभाग प्रशासनिक सचिव शामिल हैं।इसके अलावा,जम्मू-कश्मीर में जी-20शिखर सम्मेलन की साइड लाइनबैठकों की व्यवस्था के समन्वय के लिए आवास और शहरी विकास विभाग के प्रधान सचिव को केंद्र शासित प्रदेश स्तर के नोडल अधिकारी बनाया गया है।