तीर्थयात्रियों के बीच लोकप्रिय चारधाम मार्ग पर चलने वाले मज़बूत खच्चरों ने इस वर्ष श्रद्धालुओं को पवित्र तीर्थस्थलों तक ले जाने वाले हेलीकॉप्टरों से अधिक कमाई की है।
टाइम्स ऑफ़ इंडिया की रिपोर्ट के मुताबिक़, खच्चरों की कमाई 82.4 करोड़ रुपये दर्ज की गयी है, जो अब तक हेलीकॉप्टर सेवाओं से हुई 56.4 करोड़ रुपये की कमाई से 46 फ़ीसदी ज़्यादा है।
पिछले साल भी केदारनाथ यात्रा के दौरान खच्चरों ने 101 करोड़ रुपये कमाये थे, जबकि हेलीकॉप्टर कंपनियों ने 75 करोड़ रुपये कमाये थे।
आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, रुद्रप्रयाग ज़िला प्रशासन के साथ कुल 6,933 खच्चर पंजीकृत हैं और अन्य 1,000 को सामान ले जाने के लिए अधिकृत किया गया है। अधिकारियों का कहना है कि ज़्यादातर तीर्थयात्री खच्चर से ही मंदिर तक चढ़ना पसंद करते हैं। इस साल सोनप्रयाग और गौरीकुंड से क़रीब 1.8 लाख तीर्थयात्री खच्चरों पर सवार होकर केदारनाथ धाम पहुंचे हैं, जिससे संचालकों को क़रीब 54.8 करोड़ रुपये की कमाई हुई है। लगभग 1.34 लाख तीर्थयात्रियों ने वापसी यात्रा के लिए बुकिंग करायी, जिससे 27.5 करोड़ रुपये का राजस्व प्राप्त हुआ।
ख़राब मौसम ने हेलीकॉप्टर सेवाओं को प्रभावित किया है, क्योंकि भारी बारिश और तेज़ हवाओं के दौरान उड़ान भरना सुरक्षित नहीं माना जाता है। खच्चर अधिक किफ़ायती होने के अलावा, ख़राब मौसम का सामना करने में सक्षम होते हैं और ख़राब मौसम की स्थिति में भी तीर्थयात्रियों को लाने और सामान ले जाने के लिए इसका उपयोग किया जा सकता है।
इस साल चारधाम यात्रा के लिए लगभग 30 लाख श्रद्धालु आये, लेकिन केदारनाथ धाम में सिर्फ़ 10.3 लाख श्रद्धालु ही पहुंचे। ऐसा इसलिए था, क्योंकि ख़राब मौसम के कारण कठिन इलाक़े में सुरक्षा कारणों से कई भक्तों की यात्रा सीमित हो गयी थी