बाल्टिक न्यूज़ ने बताया है कि हंस पहली बार इस साल फ़रवरी में दक्षिण-पश्चिमी स्लोवाकिया के कोमारनो शहर में अफ़ीम के खेतों में पहुंच गये और तब से वहीं हैं। इन पक्षियों ने न केवल खेतों में अफ़ीम की फ़सल को नष्ट कर दिया, बल्कि नशे में इतना चूर हो गये कि उड़ भी नहीं पा रहे थे। इस वजह से ये शिकारियों के लिए आसान निशाना बना दिया है। अफ़ीम की अधिक मात्रा से कई पक्षियों की मौत भी हो चुकी है।
Swans in Slovakia found a poppy field and munched on the opium-producing plants to their hearts' content for months 🦢 pic.twitter.com/RlhCpJxTis
— DW News (@dwnews) June 15, 2023
चूंकि स्लोवाकिया में हंस एक संरक्षित प्रजाति है, इसलिए किसान फ़सलों को नुक़सान होने के बावजूद उन्हें खेतों से हटाने के लिए बल प्रयोग नहीं कर सकते हैं।
स्लोवाक पर्यावरण संरक्षण एजेंसी जैसे समूहों के कई पशु प्रेमियों और स्वयंसेवकों ने तब से हंसों को स्थानांतरित करने का प्रयास किया है। स्थान में परिवर्तन पक्षियों को ‘विषहरण’ करने में मदद कर सकता है। हालांकि, विशेषज्ञों को इस बात की चिंता है कि स्वस्थ होने पर हंस अफ़ीम के इन खेतों में लौट सकते हैं।
डीडब्ल्यू न्यूज़ ने गुरुवार को एक ऐसा ही वीडियो शेयर किया था, जिसमें स्वयंसेवकों ने उन्हें स्थानांतरित करने के लिए अफ़ीम के खेतों से नशे में पड़े हंसों को पकड़ लिया था।