अंतर्राष्ट्रीय

कंगाल पाकिस्तान अब G-20 पर नजर गड़ाए बैठा! चिंता में असीम मुनीर, भारत के इस बड़े कदम से मुल्क में दशहत

Pakistan G20 India: जी -20 शिखर सम्मेलन का आयोजन भारत में 9-10 सितंबर को होगा। मगर इसे लेकर पाकिस्तान में चिंता बढ़ गई है। पाकिस्तानी अधिकारियों को इस बात का डर सता रहा है कि भारत इस मीटिंग के जरिए कश्मीर मुद्दे पर बढ़त हासिल कर सकता है। यही नहीं इस बीच पाकिस्तानी अधिकारी इस बात से डरे हुए हैं कि भारत इस मीटिंग के जरिए जम्मू-कश्मीर पर अपना दावा कर देगा, जिस पर बाकी देश मौन सहमति दे सकते हैं। हालांकि जी-20 में जलवायु परिवर्तन, अर्थव्यवस्था और विकास से संबंधित मुद्दों पर चर्चा के लिए दुनिया भर के नेता एक साथ आते हैं। दरअसल, जी-20 में सदस्य देशों के प्रतिनिधियों के अलावा भारत ने कई गैर सदस्य देशों को भी आमंत्रित किया है। पाकिस्तान के पड़ोस में यह सम्मेलन हो रहा है, जिसमें बांग्लादेश समेत कई छोटे देशों को भी बुलाया गया है। लेकिन पाकिस्तान पूरी तरह से इससे दूर है।

पाकिस्तान को डर कि G-20 के जरिए भारत उसे फटकार लगा सकता है। या फिर वह कुछ ऐसा कर सकता है, जिससे पाकिस्तान में होने वाले आम चुनाव से पहले तनाव बढ़ जाए। द डिप्लोमैट की रिपोर्ट के मुताबिक एक पाकिस्तानी अधिकारी ने कहा, ‘हम भारत को बड़ी ब्रांडिंग और जी-20 शिखर सम्मेलन जैसे आयोजनों के जरिए कश्मीर से ध्यान नहीं हटाने दे सकते। वे वैश्विक स्तर पर इस मुद्दे को कमजोर कर सकते हैं।’ जी-20 की अध्यक्षता के बाद से ही पाकिस्तान को मिर्ची लगनी शुरू हो गई थी। क्योंकि भारत ने कश्मीर में टूरिज्म वर्किंग ग्रुप की मीटिंग बुलाई थी।

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पूरे देश में होगी मीटिंग

चीन और पाकिस्तान के विरोध को भारत ने सिरे से खारिज कर दिया है। पीएम मोदी ने रविवार को एक इंटरव्यू में कहा कि भारत देश के किसी भी हिस्से में मीटिंग कर सकता है। पीएम मोदी ने कहा हमारा देश इतना विशाल, सुंदर और विविधतापूर्ण है। जब G-20 की बैठक होगी तो स्वाभाविक है कि यह पूरे देश में की जाएगी। इसके अलावा पाकिस्तान की चिंता है कि भारत G20 का अध्यक्ष है और इसी कारण पाकिस्तान को निशाने पर लेते हुए एक जॉइंट प्रेस रिलीज जारी किया जा सकता है।

जिनपिंग नहीं आ रहे भारत

रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन युद्ध के कारण जी-20 की बैठक में हिस्सा नहीं लेंगे। इसमें शामिल होने के लिए वह रूसी विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव को भेजेंगे। वहीं, शी जिनपिंग भी भारत की यात्रा नहीं करेंगे। चीन के विदेश मंत्रालय ने इसके पीछे के कारणों को नहीं बताया है। लेकिन माना जा रहा है कि भारत और चीन के सीमा विवाद को देखते हुए वह यहां नहीं आ रहे।

आईएन ब्यूरो

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