Jammu Kashmir छोड़ पहले अपने मुल्क को कंगाली से बचा लें Shahbaz Sharif! पीएम मोदी के कश्मीर दौरे से बौखलाया पाकिस्तान

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आतंकवाद का नाम जब-जब लिया जाएगा तब-तब पाकिस्तान का भी नाम लिया जाएगा। क्योंकि, इसकी जड़ यहीं से है। पूरी दुनिया जानती है कि आज भी पाकिस्तान की सड़कों पर आसानी से आतंकी घुमते हुए मिल जाएंगे। ये वो पाकिस्तान है जिसने भारत के जम्मू-कश्मीर में जेहाद को जन्म दिया। ये वो पाकिस्तान है जिसने भारत में न जाने कितने आतंकी हमले किया। लेकिन, नए भारत ने छुप रहना नहीं बल्कि जवाब देना सिखा है। जम्मू-कश्मीर में तो सेना आतंकियों के लिए नासूर बनी हुई है। उन्हें खोज-खोज कर मार रही हैं। जिसके बाद पाकिस्तान की फौज और ISI में दहशत का माहौल है। पाकिस्तान के नए प्रधानमंत्री शाहबाज शरीफ के भी गले में कश्मीर फंस गया है।</p>
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शाहबाज शरीफ ने भारत के साथ अच्छे संबंधों की इच्छा व्यक्त की है। पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय ने सोमवार को कहा कि कश्मीर विवाद के न्यायसंगत समाधान के बिना स्थायी शांति हासिल नहीं की जा सकती है। खैर यह कोई नई बात नहीं है। पाकिस्तान में जब भी सत्ता परिवर्तन होता है तो नए प्रधानमंत्री एक ओर भारत से रिश्ता जोड़ने की बाद करते हैं तो दूसरी ओर कोई नई चाल चल रहे होते हैं।</p>
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विदेश कार्यालय के प्रवक्ता असीम इफ्तिखार अहमद ने कहा कि, भारत के साथ अच्छे संबंधों की इच्छा को ध्यान में रखते हुए पीएम शरीफ ने पहले ही कहा है कि जम्मू-कश्मीर मुद्दे के न्यायसंगत समाधान के बिना स्थायी शांति हासिल नहीं की जा सकती। वहीं, शहबाज शरीफ ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बधाई पत्र के जवाब में उन्होंने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के प्रस्तावों और कश्मीरी लोगों की इच्छाओं के अनुसार जम्मू-कश्मीर विवाद को हल करने की आवश्यकता को रेखांकित किया है। प्रवक्ता के अनुसार, शहबाज ने कहा कि यह दोनों देशों को विकास की चुनौतियों पर ध्यान केंद्रित करने में सक्षम बनाएगा।</p>
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शाहबाज शरीफ को प्रधानमंत्री पद की बधाई देते हुए भारत ने पत्र लिख कहा था कि, वह आतंक, शत्रुता और हिंसा से मुक्त वातावरण में पाकिस्तान के साथ सामान्य पड़ोसी संबंध चाहता है। आतंकवाद और शत्रुता से मुक्त वातावरण बनाने की जिम्मेदारी पाकिस्तान की है। अगस्त 2019 में भारत द्वारा जम्मू और कश्मीर की विशेष शक्तियों को वापस लेने और राज्य को दो केंद्र शासित प्रदेशों में विभाजित करने की घोषणा के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच संबंध बिगड़ गए थे।</p>
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बता दें कि, पाकिस्तान पीएम मोदी के कश्मीर दौरे से बौखला उठा है। साल 2019 में आर्टिकल 370 के ज्यादातर प्रावधानों को निरस्त करने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पहली बार सार्वजनिक कार्यक्रम में शामिल होने के लिए रविवार को जम्मू-कश्मीर गए थे। इसी दौरान उन्होंने घाटी में विकास की धारा को तेज करते हुए 20 हजार करोड़ रुपए का तोहफा दिया। जिसमें कई योजनाएं शामिल हैं। इसी दौरान उन्होंने रतले और क्वार जलविद्युत परियोजनाओं की आधारशिला रखी। किश्तवाड़ में चिनाब नदी पर लगभग 5,300 करोड़ रुपये की लागत से 850 मेगावाट की परियोजना और उसी नदी पर 4,500 करोड़ रुपये से अधिक की लागत से 540 मेगावाट की क्वार जलविद्युत परियोजना का निर्माण किया जाएगा। अब इसी परियोजना के बाद पाकिस्तान बौखला उठा है।</p>
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आईएन ब्यूरो

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