पाकिस्तान भले ही दूसरे देशों का बुरा करके सीना चौड़ा कर लिया हो, लेकिन आज यही वो पाकिस्तान है जिसके हालत अब बद से बदतर हो गए। सिर्फ रोटी के लिए ही नहीं बल्कि जरूरत की हर उस चीज़ के लिए चीज़ के लिए तरस रहा है जो उसको नसीब ही नहीं हो पा रही है। आलम यह है कि महाकंगाल हो चुके पाकिस्तान में अब हालात भयानक होते जा रहे हैं। अमेरिका (America) और पाकिस्तान के अधिकारियों ने चेतावनी दी है कि रेकॉर्ड महंगाई, यूक्रेन युद्ध और गर्त में पहुंच चुके रुपये की वजह से पाकिस्तान में खाद्य संकट पैदा हो गया है और देश भुखमरी की ओर बढ़ सकता है। अधिकारियों ने कहा कि यूक्रेन युद्ध, महंगाई और रुपये का अवमूल्यन चिंता का असली कारण है। पाकिस्तान के अमेरिका में राजदूत मसूद खान ने माना कि पाकिस्तान के सामने मुंह बाए खड़ी चुनौतियों को ‘एक जोरदार तूफान’ करार दिया।
क्या बोले मसूद खान?
मसूद खान (Masood Khan) ने बोले हम लोग यूक्रेन युद्ध से सीधे तौर पर प्रभावित हुए हैं। इससे गेहूं और उर्वरकों की कमी हो गई है जो अभी हम यूक्रेन से मंगाते थे। उन्होंने कहा कि हम इससे उबरने की कोशिश कर रहे थे लेकिन तभी देश में भयानक बाढ़ आ गई। खान ने कहा कि कृषि न केवल खाद्य सुरक्षा के लिए महत्वपूर्ण है बल्कि इसके निर्यात से 4.4 अरब डॉलर की आय भी हुई। इसी वजह से यह पाकिस्तान के लिए बड़ा झटका है।
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पाकिस्तान US से डॉलर की उम्मीद में
खान ने कहा कि टीटीपी के भीषण हमले से यह साफ हो गया है कि आतंकवाद के खिलाफ जंग को समर्थन देना जरूरी है। बता दें कि कंगाल हो चुका पाकिस्तान चाहता है कि टीटीपी के खिलाफ जंग लड़ने के लिए अमेरिका उसे पैसे दे। वहीं कई विश्लेषकों का कहना है कि पाकिस्तान जानबूझकर टीटीपी को बढ़ावा दे रहा है ताकि अमेरिका से अरबों डॉलर की मदद हासिल की जा सके।
गौरतलब है पाकिस्तान में इस समय आटा का गंभीर संकट चल रहा है। पाकिस्तान के कई इलाकों में आटे के लिए लोग भिड़ जा रहे हैं। यही नहीं जो आटा बाजार में मिल रहा है, उसके दाम आसमान छू रहे हैं। इसके अलावा देश के डिफॉल्ट होने का खतरा मंडरा रहा है।