राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) प्रमुख मोहन भागवत ने बेंगलुरु स्थित वासवी कन्वेंशन हॉल में तिरंगा फहराया। मोहन भागवत उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि भारत ने दुनिया को प्रबुद्ध करने के लिए ही स्वतंत्रता प्राप्त हासिल की। साथ ही उन्होंने कहा कि हम सूर्य की पूजा करते हैं इसलिए हमें भारत कहा जाता है।
दुनिया को ज्ञान देने के लिए स्वतंत्र हुआ भारत
RSS प्रमुख मोहन भागवत ने कहा, ‘हम सूर्य की पूजा करते हैं, इसलिए हमें भारत कहा जाता है, जिसमें ‘भा’ प्रकाश का प्रतीक है।’ भागवत ने कहा कि स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर सूर्य आराधना एक सार्थक आयोजन है। भारत ने दुनिया को प्रबुद्ध करने के लिए ही स्वतंत्रता प्राप्त हासिल की।
मोहन भागवत RSS प्रमुख हैं जिन्होंने भारत के राष्ट्रीय ध्वज को लेकर भी कई बातें कही।उन्होंने कहा कि ध्वज के शीर्ष पर भगवा रंग जीवन को तमसो मा ज्योतिर्गमय की दिशा में ले जाने के लिए बलिदान का प्रतीक है। साथ ही मोहन भागवत ने बताया कि सफेद रंग पवित्रता का प्रतीक है जो बिना किसी स्वार्थ के काम करने का प्रतीक है । साथ ही भागवत ने हरा रंग को लेकर कहा कि हरा रंग लक्ष्मी जी का प्रतीक है जो बौद्धिक, आध्यात्मिक और निस्वार्थ शक्ति की प्राप्त करने में मदद करता है।
भारत को सक्षम होने की जरूरत
राष्ट्रीय स्वंय सेवक संघ के प्रमुख मोहन भागवत ने अपने संबोधन में कहा कि दुनिया को ज्ञान प्रदान करने के लिए भारत को सक्षम होने की आवश्यकता है। यदि हम ऐसा नहीं करते हैं, तो यह सक्रिय ताकतों को तोड़ने से पैदा हुई परेशानी के कारण होगा। हमें सतर्क, सतर्क रहने और राष्ट्रीय ध्वज द्वारा दिए गए संदेश के आधार पर काम करने और देश को एक साथ लाने की जरूरत है।
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