G-7 नेताओं ने शुक्रवार को हिरोशिमा पीस मेमोरियल पार्क एंड म्यूज़ियम का दौरा किया और 78 साल पहले शहर में जान गंवाने वाले लोगों को श्रद्धांजलि दी।
अब एक यूनेस्को विश्व धरोहर स्थल बन चुका यह परमाणु बम डोम उस क्षेत्र में खड़ा एकमात्र ढांचा है, जहां 6 अगस्त 1945 को पहला परमाणु बम विस्फोट हुआ था।
हिरोशिमा जापानी प्रधान मंत्री फ़ुमियो किशिदा का गृहनगर भी है, जिन्होंने अपनी पत्नी के साथ पीस मेमोरियल पार्क में विश्व नेताओं का स्वागत किया।
फ़्रांसीसी राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रॉन, अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन, कनाडा के पीएम जस्टिन ट्रूडो, जर्मन चांसलर ओलाफ शोल्ज़, इतालवी चांसलर जियोर्जिया मेलोनी, ब्रिटिश प्रधानमंत्री ऋषि सुनक, यूरोपीय परिषद के अध्यक्ष चार्ल्स मिशेल, यूरोपीय आयोग के अध्यक्ष वज़रा वॉन डेर लेयेन और उनके पति ने परमाणु बम पीड़ितों के लिए स्मारक पर फूल चढ़ाये।
平和記念公園にて #G7広島サミット が開幕しました。 pic.twitter.com/YnnXwpqg9p
— 首相官邸 (@kantei) May 19, 2023
हिरोशिमा के मेयर मात्सुई से परमाणु बम डोम के बारे में स्पष्टीकरण प्राप्त करने के बाद G- 7 नेताओं ने किशिदा के साथ पार्क में कुछ योशिनो चेरी के पेड़ लगाये, शांति की इच्छा व्यक्त की और उस उद्देश्य के लिए G-7 को एकजुट करने की इच्छा व्यक्त की।
Thank you @kishida230 for such a warm welcome to the @G7.
It was deeply moving to visit the Hiroshima Peace Memorial Park which holds such significance.
This Summit carries the weight of history and it’s important that we learn from the past, including from its darkest moments. pic.twitter.com/eDTvwX5WGG
— Rishi Sunak (@RishiSunak) May 19, 2023
शुक्रवार को शुरू हुए तीन दिवसीय शिखर सम्मेलन के लिए शहर में G-7 नेताओं ने पीस मेमोरियल म्यूज़ियम का भी दौरा किया, जहां किशिदा ने प्रदर्शनी की सामग्री के बारे में बताया और परमाणु बम में बच गयी केइको ओगुरा के साथ बातचीत की।
4 अगस्त, 1937 को जन्मी केइको ओगुरा सिर्फ़ आठ साल की थी, जब वह उशिता-चो में परमाणु बमबारी की चपेट में आयी थीं। यह इलाक़ा हाइपोसेंटर से 2.4 किलोमीटर दूर है।यहीं अमेरिका ने हिरोशिमा पर ‘लिटिल बॉय’ नामक परमाणु बम गिराया था।
1981 में उन्होंने हिरोशिमा इंटरप्रिटर्स ग्रुप फ़ॉर पीस की स्थापना की और विदेशों से लेखकों, मीडिया और शांति कार्यकर्ताओं के लिए दुभाषिया के रूप में अपने कई कार्यों में शामिल रही हैं।
On Day 2 of the Hiroshima G7 Youth Summit, Ms. Keiko Ogura — Hibakusha and A-bomb survivor — reflects on her harrowing journey from the epicenter of the Hiroshima blast, at only eight-years old.#G7YouthVsNukes #napf #rtt #nuclearban pic.twitter.com/QzBVoswnti
— Nuclear Age Peace Fn (@napf) April 26, 2023
कीको ओगुरा ने नूर्नबर्ग में परमाणु-विरोधी मूट कोर्ट और न्यूयॉर्क में परमाणु पीड़ितों पर विश्व सम्मेलन में अपने परमाणु बमबारी के अनुभव के बारे में अंग्रेज़ी में गवाही दी थीं।