9 मार्च को पाकिस्तान के खानेवाल जिले के मियां चन्नू कस्बे में तेज रफ्तार से उड़ती हुई चीज आ गिरी। ये चीज थी 'भारतीय मिसाइल'…. पाकिस्तान के क्षेत्र में भारतीय मिसाइल के गिरने से पाक पीएम इमरान खान बौखलाए हुए है और लगातर भारत के खिलाफ जहर उगल रहे है। इसको लेकर इमरान खान ने भारत से लगातार सवाल कर रहा है। हालांकि भारत की ओर से कहा जा चुका है कि ये महज दुर्घटना थीं, बावजूद इसके पाकिस्तान इस मामले को खींच रहा है। इस कड़ी में अब इमरान खान के सवालों का सामने करने रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह आगे आए है।
पाकिस्तान में गिरे भारत के मिसाइल पर
राजनाथ सिंह का सदन में बयान.#RajnathSingh pic.twitter.com/UojxSeZQRQ— WeYo राजनीति (@WeYoRajneeti) March 15, 2022
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राज्य सभा में राजनाथ सिंह ने कहा- 'मैं इस गरिमामयी सदन को, 9 मार्च 2022 को हुई एक घटना से अवगत कराना चाहता हूं। यह घटना निरक्षीण के दौरान अनजाने में हुई एक मिसाइल के छोड़े जाने से संबंधित है। मिसाइल यूनिट के रुटीन मेंटेनेंस और जांच के दौरान शाम को लगभग 7 बजे दुर्घटनावश एक मिसाइल लॉन्च हो गई। बाद में ज्ञात हुआ कि यह मिसाइल पाकिस्तान के क्षेत्र में जा कर गिरी। राजनाथ ने कहा, यह घटना खेदजनक है। परन्तु यह राहत की बात है, कि इस दुर्घटना से किसी भी प्रकार का नुकसान नहीं हुआ है।'
Brahmos System Reliable,
Working Properly 😀Full statement in Parliament by DM #RajnathSingh on 🇮🇳’s accidental firing of a cruise missile into 🇵🇰 on March 9th pic.twitter.com/3HJyItbScj
— #DextrousNinja🇮🇳 (@DextrousNinja) March 15, 2022
राजनाथ ने संसद में आगे कहा- 'मैं सदन को सूचित करना चाहता हूं कि सरकार ने इस घटना को गंभीरतापूर्वक लिया है और इसके लिए एक औपचारिक उच्च स्तरीय जांच के आदेश दे दिए गए हैं। जांच से उक्त दुर्घटना के सही कारण का पता चलेगा। उन्होंने कहा, मैं यह भी कहना चाहूंगा कि इस घटना के मद्देनजर संचालन, रखरखाव और निरीक्षण के लिए मानक संचालन प्रक्रियाओं की समीक्षा की जा रही है।' आपको बता दें कि भारत की एक मिसाइल पाकिस्तान के काफी अंदर जाकर गिरी थी।
पाकिस्तान ने कहा था कि मिसाइल करीब 40,000 फीट की ऊंचाई पर आवाज से तीन गुना ज्यादा रफ्तार से उड़ते हुए उनके एयरस्पेस में घुसी। मिसाइल 6 मिनट तक हवा में रही, उस दौरान कोई विमान भी उसके रास्ते में आ सकता था। पाकिस्तान ने मामले की संयुक्त जांच की मांग की जिसे भारत ने ठुकरा दिया था।