आर्थिक तंगी से जूझ रहे Pakistan में लगातार महंगाई की मार आवाम पर पड़ रही है। शनिवार की सुबह पाकिस्तानी आवाम पर महंगाई का बम गिरा। पाकिस्तान की मौजूदा अंतरिम सरकार ने पेट्रोल और डीजल के दामों में बेतहाशा वृद्धि कर दिए हैं। पाकिस्तान में अब डीजल 329.18 रुपए प्रति लीटर है। जबकि पेट्रोल के दाम 330 के पार हो गया है।
Pakistan में अंतरिम सरकार के सत्ता में आने के बाद भी महंगाई का बढ़ना नहीं रुक रहा है। सरकार ने शुक्रवार देर रात पेट्रोल की कीमतों में 26.2 रुपए प्रति लीटर की बढ़ोतरी की है। वहीं, हाई स्पीड डीजल की कीमतों में 17.34 रुपए प्रति लीटर बढ़ोतरी की गई है। वित्त मंत्रालय ने एक बयान में कहा, ‘इंटरनेशनल मार्केट में पेट्रोलियम की बढ़ती कीमतों के कारण सरकार ने उपभोक्ताओं के लिए मौजूदा कीमतों में संशोधन करने का फैसला किया है।’
कीमतों में बढ़ोतरी के बाद पेट्रोल डीजल के दाम अपने ऐतिहासिक स्तर पर पहुंच गए। कीमतों के बढ़ने के बाद पेट्रोल की कीमत 331.38 रुपए प्रति लीटर हो गई है। वहीं डीजल की कीमत 329.18 रुपए प्रति लीटर है। 15-16 सितंबर की आधी रात के बाद से कीमतें लागू हो गई हैं। यानी Pakistan आवाम पर महंगाई का यह बम तब गिरा जब वह पूरी तरह से नींद में थी। कुछ दिनों पहले कार्यवाहक सरकार ने पेट्रोल और डीजल की कीमतों में बढ़ोतरी को मंजूरी दी थी, जिससे देश के इतिहास में पहली बार यह 300 के आंकड़े को पार कर गया।
पाकिस्तानी जनता पर महंगाई की मार
Pakistan में इमरान खान की पार्टी पीटीआई ने कीमतों की बढ़ोतरी पर तंज कसा। पीटीआई ने एक वीडियो में पेट्रोल की कीमतों के साथ पूर्व विदेश मंत्री बिलावल का वह बयान चलाया, जिसमें वह कह रहे हैं ‘वेलकम टू पुराना पाकिस्तान।’ आर्थिक संकट से जूझ रहे पाकिस्तान के नागरिकों पर यह एक नया बोझ है।
पाकिस्तान में पहले ही महंगाई, डॉलर की कीमतों में बढ़ोतरी, महंगा बिजली बिल और खाद्य पदार्थों के बढ़े हुए दाम से जनता परेशान है। पाकिस्तान में मिट्टी के तेल और लाइट डीजल ऑयल (LDO) की कीमतों में बढ़ोतरी नहीं हुई है। पाकिस्तानी सेना भी मिट्टी तेल का बड़ा इस्तेमाल करती है।
बेरोजगारी बढ़ने की आशंका
पाकिस्तान में इस साल बेरोजगार लोगों की संख्या 56 लाख तक पहुंचने का अनुमान है। साल 2021 के बाद इसमें 15 लाख की वृद्धि होगी। डॉन की रिपोर्ट के मुताबिक अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन (ILO) की रिपोर्ट के हवाले से बताया गया कि कोविड-19 के बाद से अभी तक पाकिस्तान का श्रम बाजार उबर नहीं पाया है। वहीं, महिलाओं की बेरोजगारी दर 11.1 फीसदी होने का अनुमान है।
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