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#Drone Mahotsav 2022: ‘गरीबी और बेरोजगारी दूर करने की टेक्नोलॉजी- ड्रोन टेक्नोलॉजी, किसान फ्रेंडली ड्रोन टेक्नोलॉजी’

Drone Mahotsav Modi and Drone Technology

ड्रोन से खेती हो रही है। ड्रोन से बिजाई हो रही है। ड्रोन से खाद और दवाएं लग रही है और ड्रोन से जमीन जायदाद की पैमाइश हो रही है। जिस ड्रोन को गरीब विरोधी करार दिया गया वो ड्रोन गरीबी खत्म करने का एक साधन बन गया है। प्रगति मैदान में ड्रोन महोत्सव के उद्घाटन अवसर पर यह जानकारी देते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा 2030 तक भारत ड्रोन हब बनने जा रहा है। 

प्रधानमंत्री ने कहा, यह उत्सव सिर्फ ड्रोन का नहीं, यह नए भारत-नई गवर्नेंस का उत्सव है। ड्रोन टेक्नोलॉजी को लेकर भारत में जो उत्साह देखने को मिल रहा है, वो अद्भुत है। ये जो ऊर्जा नजर आ रही है, वो भारत में ड्रोन सर्विस और ड्रोन आधारित इंडस्ट्री की लंबी छलांग का प्रतिबिंब है। पीएम ने कहा, यह ऊर्जा भारत में रोजगार सृजन के एक उभरते हुए बड़े सेक्टर की संभावनाएं दिखाती है। उन्होंने कहा, आठ वर्ष पहले यही वो समय था, जब भारत में हमने सुशासन के नए मंत्रों को लागू करने की शुरुआत की थी।

टेक्नोलॉजी को समझा परेशानी का हिस्सा

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, पहले की सरकारों ने टेक्नोलॉजी को समस्या का हिस्सा समझा। उसे गरीब विरोधी साबित करने की कोशिश की गई। इस कारण 2014 से पहले गवर्नेंस में टेक्नॉलॉजी के उपयोग को लेकर उदासीनता का वातावरण रहा। इसका सबसे अधिक नुकसान गरीब को हुआ, वंचित को हुआ और मिडिल क्लास को हुआ। उन्होंने कहा, तकनीकी के माध्यम से हम आगे बढ़कर अंत्योदय के लक्ष्य को प्राप्त कर सकते हैं।

पीएम मोदी ने कहा, ‘आज देश ने जो रोबस्ट, UPI फ्रेमवर्क डवलप किया है, उसकी मदद से लाखों करोड़ रुपए गरीब के बैंक खाते में सीधे ट्रांसफर हो रहे हैं। महिलाओं को, किसानों को, विद्यार्थियों को अब सीधे सरकार से मदद मिल रही है। ड्रोन टेक्नोलॉजी कैसे एक बड़ी क्रांति का आधार बन रही है, इसका एक उदाहरण पीएम स्वामित्व योजना भी है। इस योजना के तहत पहली बार देश के गांवों की हर प्रॉपर्टी की डिजिटल मैपिंग की जा रही है, डिजिटल प्रॉपर्टी कार्ड लोगों को दिए जा रहे हैं। पहले के समय में टेक्नोलॉजी और उससे हुएआविष्कार, अभिजात वर्ग के लिए माने जाते थे। आज हम टेक्नोलॉजी को सबसे पहले आमजन को उपलब्ध करा रहे हैं।