यूक्रेन और रूस के बीच जारी जंग का उसर पूरी दुनिया में देखने को मिल रहा है। खासकर पेट्रोल-डीजल के दामों में तो भारी वृद्धि आ चुकी है और लगातार बढ़ते ही जा रहा है। भारत में भी इस वक्त तेल के दामों में तेजी से इजाफा देखने के मिल रहा है। जिसके बाद UNSC ने भारत ने चिंता व्यक्त की है और कहा है कि, दो देशों के बीच संघर्ष व्यापक क्षेत्रीय और वैश्विक प्रभाव डाल रहा है।
भारत के स्थायी राजदूत टीएस तिरुमूर्ति ने UNSC में रूस के यूक्रेन पर हमले के बाद भारत में उभरती खाद्य और तेल की स्थिति पर चिंता व्यक्त की। उन्होंने कहा कि, यूक्रेन और रूस के बीच युद्ध से तेल की कीमतें आसमान छू रही हैं और खाद्यान्न और उर्वरकों की कमी है। इसका वैश्विक दक्षिण और विकासशील देशों पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ा है। ऊर्जा सुरक्षा समान रूप से एक गंभीर चिंता है और सभी के प्रयासों के माध्यम से ठीक करने की जरूरत है।
उन्होंने एक बार फिर से दोहराया कि यूक्रेन के संघर्ष की शउरुआत से ही भारत शांति, संवाद और कुटनीति के पक्ष में रहा है। हम मानते हैं कि खून बहाकर और निर्दोष जीवन की कीमत पर कोई समाधान नहीं निकाला जा सकता है। इसके साथ ही, उन्होंने कहा कि संघर्ष के कारण लोगों की जान गई है और अनगिनत परेशान हुए हैं, खासकर महिलाओं, बच्चों और बुजुर्गों के लिए, लाखों लोग बेघर हो गए हैं और पड़ोसी देशों में शरण लेने के लिए मजबूर हो गए हैं। तिरुमूर्ति ने आगे कहा कि भारत ने बुका में नागरिकों की हत्या की कड़ी निंदा की है और स्वतंत्र जांच के आह्वान का समर्थन किया है।
उनके इस बयान कि, संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस की प्रशंसा की। उन्होंने गुटेरेस की हाल की मॉस्को और कीव यात्रा और रूसी संघ और यूक्रेन के नेतृत्व के साथ उनके जुड़ाव का भी स्वागत किया। तिरुमूर्ति ने कहा कि हम इस बात से सहमत हैं कि तत्काल प्राथमिकता तीव्र लड़ाई वाले क्षेत्रों से निर्दोष नागरिकों को निकालने की है। हम मैरियूपोल से नागरिक आबादी को निकालने में संयुक्त राष्ट्र के प्रयासों की सराहना करते हैं। हमें उम्मीद है कि ये प्रयास अन्य क्षेत्रों में भी विस्तारित होंगे। उन्होंने कहा कि, मानवीय गलियारों के माध्यम से आवश्यक मानवीय और चिकित्सा आपूर्ति प्रदान करने के लिए सुरक्षित मार्ग की गारंटी के आह्वान का समर्थन करता है।