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Putin के खतरनाक अंदाज से पूरे पश्चिमी देशों में खौफ! 9 मई को Ukraine में होने वाला है कुछ बड़ा- देखें रिपोर्ट

9 मई को ऐसा क्या है कि रूस से डर रहे पूरे पश्चिमी देश!

पुतिन ने साफ कहा है कि, जो भी देश यूक्रेन की मदद करेगा वो उसे इसमें शामिल मानेंगे। रूस के सैन्य अभियान को रोकने के लिए अमेरिका, नाटो संग पूरे पश्चिमी देशों ने अपनी ताकत झोंक दी लेकिन वो इसे रोकने में नाकामयाब साबित हुए। यहां तक कि रूस के खिलाफ कड़े प्रतिबंध लगाकर देश की अर्थव्यवस्था को तोड़ने की कोशिश की लेकिन यहां भी इनकी हार हुई। अब 9मई को रूस के लिए काफी खास दिन है और इस दिन से पश्चिमी देशों में अभी से खौफ देखने को मिल रहा है।

दरअसल, 9मई को रूस का विजय दिवस है और इस बीच पुतिन और भी ज्यादा सख्त हो गए हैं। ऐसे में माना जा रहा है कि, इस दिन यूक्रेन बड़ी ताबही का मंजर देख सकता है। इस अवसर पर जहां पुतिन के देश में जश्न का माहौल रहेगा वहीं यूक्रेन के ऊपर मुसीबत और बढ़ने वाली है। क्योंकि, रूस के विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव ने चेतावनी देते हुए कहा है कि हम विजय दिवस को देखते हुए यूक्रेन में सैन्य कार्रवाई में कोई बदलाव नहीं करेंगें। हमारी सेना हमले जारी रखेगी। रूस का यह बयान तब आया है जब नाटो के पूर्व प्रमुख रिचर्ड शेरिफ ने यूक्रेन में रूस के साथ सबसे खराब स्थिति में युद्ध के लिए पश्चिम को खुद को तैयार करने की चेतावनी दी।

इस बीच ब्रिटेन के रक्षा सचिव बेन वालेस ने भी इस बात की जानकारी दी है कि पुतिन 9 मई को रूस के विजय दिवस परेड का इस्तेमाल यूक्रेन के खिलाफ फाइनल लड़ाई में अपने भंडार को बढ़ाने की घोषणा करने के लिए कर सकते हैं। रूसी विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव ने कहा कि, हम नहीं चाहते कि देश में जश्न का माहौल हो और किसी भी तरह की अनहोनी हो जाए इसलिए, हम इस दिन यूक्रेन में अपनी सैन्य कार्रवाई और तेज करेंगे। हमारे सैनिक पश्चिमी देशों के मंसूबों को कामयाब होने नहीं देंगे। इस दौरान उन्होंने नाटो देशों को भी खरी-खोटी सुनाई। उनसे जब सवाल किया गया कि, क्या रूस, यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की को आत्मसमर्पण करवाना चाहते हैं, तो इस पर उन्होंने जवाब दिया कि, मॉस्को आत्मसमर्पण नहीं मांग रहा बल्कि, वह चाहता है कि, पूर्वी यूक्रेन में कैद में रह रहे सभी नागरिकों को रिहा करे और प्रतिरोध को रोकने का आदेश दे। इसके साथ ही उन्होंने जोर देकर कहा कि, रूस पूर्वी यूक्रेन में सभी लोगों के लिए सुरक्षा सुनिश्चित करना चाहता है ताकि उन्हें इस देश के सैन्यीकरण या नाजीकरण से कोई खतरा न हो और यूक्रेन के क्षेत्र से रूसी संघ की सुरक्षा के लिए कोई खतरा न हो।