अभी दो दिन पहले ही राजनाथ सिंह ने चीन को चेतावनी दी थी कि हमें छेड़ोंगे तो हम छोड़ेंगे नहीं। इसके बाद चीन ने भारतीय विदेश मंत्री डॉक्टर एस जयशंकर की तारीफ में कसीदे पढ़ दिए। ऐसा लगा कि जैसी सूचनाएं मिल रही हैं वैसा कुछ है नहीं, मतलब सब कुछ ठीक है। लेकिन सच्चाई यह थी कि चीन बहुत चालाकी से रात के समय भारतीय खुफिया सेटेलाइट के कैमरों से छुप कर मोबाईल टावर खड़े कर रहा था।
चीनकी चालबाजी बेनकाब हो गई है। एलएसी के पर चीन के कब्जे वाले क्षेत्र में तीन नए मोबाइल टावर लगाए जाने की तस्वीरें सामने आई हैं। ये तस्वीरें, लद्दाख स्वायत्त पहाड़ी विकास परिषद लेह के चुगुल से पार्षद कोंचोक स्टैंजिन ने शेयर की हैं।चीन ने पैंगोंग झीलपर पुल का काम खत्म करने के बाद हॉट स्प्रिंग इलाके में ये तीन टावर लगाए हैं। ये जगह भारत के काफी करीब है। इससे पहले भी कई बार इसी तरह की खबरें सामने आ चुकी हैं।
दरअसल चुशुल एलएसी से सटा हुआ है, वहां चीन जो भी हरकतें करता है, वो स्थानीय ग्रामीणों को नजर आ जाती हैं। कोंचोक स्टैंजिन ने तस्वीरें शेयर करते हुए ट्विटर पर लिखा है, ‘पैंगोंग झील पर पुल बनाने का काम पूरा हो गया है, चीन ने चीनी हॉट स्प्रिंग के पास, भारतीय क्षेत्र के बेहद करीब तीन मोबाइल टावर लगाए हैं। क्या ये चिंता की बात नहीं है? जहां लोग रहते हैं, उन गांवों में हमारे पास 4जी सुविधाएं भी नहीं हैं। मेरे निर्वाचन क्षेत्र में 11गावों में 4जी सुविधा नहीं है।’ इस इलाके से पैंगोंग झील के उस पार चीन की गतिविधियां सामने नजर आती हैं।
इससे पहले खबर आई थी कि चीन ने भारतीय सीमा के पास 624गांव बसा दिए हैं, जिनका काम भी पूरा हो गया है। चीन ने इन सैन्यीकृत गांवों के निर्माण का काम साल 2017में शुरू किया था। जिसका आदेश चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने दिया था। वहीं चीनी सरकार ने अपने दस्तावेजों में इस बात का खुलासा किया था कि कुल 624गांव बनाए जाएंगे। वहीं रक्षा विशेषज्ञ ब्राह्मा चेलानी के हवाले से एक रिपोर्ट में कहा गया है कि उन्होंने चीन की सरकारी वेबसाइट तिब्बत डॉट कॉम के हवाले से बताया है कि चीन की सरकार ने 2021में गांव बनाने का काम पूरा कर लिया है।