चीन में इस वक्त सबकुछ ठीक नहीं चल रहा है। देश में कई सारी चीजें अस्थिर हैं। कोरोना के चलते इस वक्त चीन के कई शहरों का हाल बुरा है। इस बीच एक नई खबर सामने आ रही है कि, चीन की जनता में आक्रोश और कहा जा रहा है कि, इस बार शी जिनपिंग की सरकार को बड़ा झटका लग सकता है। इसके पीछे कई वजह भी है। दरअसल, चीन की जनता खुद 'शी जिनपिंग' सरकार के परेशान है। एक समय ऐसा था जब शी जिनपिंग नेपाल में अपनी मन-पसंद सरकार बनाना चाहते थे। नेपाल में चीन की खूबसूरत राजदूत हंयाकी राजदूत नहीं बल्कि शी जिनपिंग की दूत की तरह काम कर रही थीं। संसद-मंत्रिमण्डल से लेकर राष्ट्रपति-प्रधानमंत्री भवन तक हंयाकी की एंट्री डाईरेक्ट थी। अब उन्हीं शी जिनपिंग को लेने के देने पड़ रहे हैं। उन्हें अपनी कुर्सी बचाने की नौबत आ गई है। बीजिंग में बड़े सियासी फेर-बदल की आहट सुनाई पड़ रही है।
एक तो विश्व में चीन को लेकर दुनिया का नजरिया बदलते जा रहा है। क्योंकि, चीन लगातार दूसरे देशों पर बुरी नजर डाले हुए है और इसके लेकर कई बार चीन को मुंह की भी खानी पड़ी है। साथ ही कोरोना महामारी में जिनपिंग सरकार की जो जीरो कोविड पॉलिसी है उसने जनता की नाक में दम कर रखा है। कई वीडियो सामने आए जिसमें देखा गया कि चीन की जनता अपने ही घरों में जेल की तरह कई हफ्तों से कैद है और लोग खाने-पीने के लिए तड़प रहे हैं। कई रिपोर्टों में यह भी बताया गया कि, चीनी सरकार ने बिना किसी प्रबंध के लोगों को घरों में कैद कर दिया। वहीं, कोरोना संक्रमित पाए जाने पर लोगों को उठाकर ऐसे जगह पर रख दिया जा रहा है कि उनके परिवार वालों तक को इसके बारे में कोई जानकारी नहीं है। यहां तक कि लोगों को जबरन टीका लगाया जा रहा है। इसके अलावा भी कई सारे मुद्दें हैं जिसके चलते जनता सरकार से खफा है। ऐसे में माना जा रहा है कि चीन में सरकार बदल सकती है।
दरअसल, चीन में राष्ट्रपति शी जिनपिंग के पद से हटने को लेकर सोशल मीडिया पर तेजी से अफवाह फैल रही हैं। इसमें कहा जा रहा है कि, जिनपिंग देश में आर्थिक मंदी के साथ कड़े कोविड -19 लॉकडाउन के कुप्रबंधन के कारण अपने पद से हट सकते हैं। ये खबर पार्टी पोलित ब्यूरो की स्थायी समिति की बैठक के बाद शुरू हुईं। इसके अलावा, एक कनाडाई-बेस्ड ब्लॉगर द्वारा बनाया गया एक वीडियो चीन द्वारा सेंसर किए जाने से पहले सोशल मीडिया पर जमकर सुर्खियां बटोर रहा था। खबरों में कहा जा रहा है कि, वर्तमान प्रधानमंत्री ली जिनपिंग की ओर से पार्टी और सरकार के दैनिक प्रबंधन को संभालने के लिए स्थान ग्रहण करेंगे।
कोविड 19 वायरस के प्रसार को रोकने के लिए, चीनी राष्ट्रपति ने सख्ती बरतने का आदेश दिया। लॉकडाउन ने देश भर में व्यवसायों को काफी बुरी तरह बाधित किया है। एक वरिष्ठ चीनी अधिकारी के अनुसार, महामारी आर्थिक और सामाजिक विकास के लिए काफी नुकसानदायक है। एक और प्रेस कॉन्फ्रेंस में चीनी कम्युनिस्ट पार्टी के वित्तीय और आर्थिक मामलों की केंद्रीय समिति के कार्यालय में उप निदेशक हान वेनक्सिउ ने कहा था कि महामारी को वैज्ञानिक सटीकता के साथ, अर्थव्यवस्था को स्थिर करके, और देश के विकास को सुरक्षित रखने के बजाय नियंत्रित किया जाना चाहिए। सख्त कोविड प्रतिबंधों ने औद्योगिक उत्पादन को भी रोक दिया है जिसके परिणामस्वरूप आपूर्ति भी बाधित हुई है। कई शहरों का हाल बुरा है, अर्थव्यवस्था में भारी गिरावट आई है। साथ ही शेयर बाजार भी बुरी तरहव प्रभावित है, जिससे वैश्विक सुधार पर असर पड़ने की संभावना है क्योंकि, गहन लॉकडाउन चीन में कंपनियों की बिक्री को प्रभावित करेगा और आपूर्ति श्रृंखला को भी प्रभावित करेगा। ऐसे में कहा जा रहा है कि, शी जिनपिंग सरकार लोगों के अंदर से विश्वास खो रही है और माना जा रहा है कि इस बार चीन की सत्ता में बड़ा परिवर्तन देखने को मिल सकता है।