कोरोना का नया वेरिएंट ओमीक्रॉन इस वक्त तेजी से पैर पसार रहा है, यह वेरिएंट बहुत की कम समय में कई देशों में घुसपैठ करने में कामयाब रहा। इस वक्त पूरी दुनिया में इस वायरस का खैफ देखा जा सकता है। दूसरी लहर में जहां डेल्टा वेरिएंट ने तेजी से तबाही मचाई थी तो वहीं, यह वेरिएंट उससे भी तेज निकला। डेल्टा वेरिएंट के बारे में तो पहले ही पता चल गया था। लेकिन ओमीक्रॉन के बारे में दुनिया को जबतक पता चलता तब तक यह कई देशों को अपने चपेट में ले लिया।
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ओमीक्रॉन के बढ़ते खतरे को देखते हुए देश अपने-अपने यहां प्रतिबंध लगाना शुरू कर दिया है। खासकर यात्रा को लेकर दुनिया सख्त कदम उठा रही है। अब यह वायरस जापान भी पहुंच गया है, यहां पर संक्रमण के मामले सामने आए हैं जिसलके बाद यात्रा प्रतिबंधों को कड़ा कर दिया गया है। इस वायरस के बारे में अभी तक ज्यादा जानकारी नहीं जुट पाई है, जैसे कि कितना संक्रामक है, क्या यह टीकों को चकमा दे सकता है।
यूरोपीय आयोग प्रमुख ने स्वीकार किया है कि विश्व को इस बारे में वैज्ञानिकों का और जवाब देना लंबा खींच सकता है। इस बीच, यूरोप के कई देश अब भी कोविड के पुराने वेरिएंट डेल्टा से जूझ रहे हैं। वहां संक्रमण के मामले तीव्र गति से बढ़ रहे हैं और अस्पतालों में मरीजों के भर्ती होने की दर भी बढ़ी है। वहीं जापान भी अपना आक्रामक रुख बरकरार रखे हुए है। उसने सभी अंतरराष्ट्रीय एयरलाइन को देश में आने वाली उड़ानों के लिए टिकटों की बुकिंग दिसंबर के अंत तक बंद करने को कहा था। हालांकि बाद में ये फैसला वापस ले लिया गया।
इस वेरिएंट को लेकर कहा जा रहा है कि यह दक्षिण अफ्रीका से निकला है जिसके बाद विश्व के कई देशों ने दक्षिण अफ्रीका से यात्रियों के आगमन को निषिद्ध कर दिया है। जापान में इस वेरिएंट के दो मामले सामने आए हैं। अमेरिका भी अंतरराष्ट्रीय यात्रियों के लिए जांच की जरूरतों को कठोर करने का कदम उठा रहा है। यह स्पष्ट है कि यह दक्षिण अफ्रीका से पहले यूरोप में मौजूद था। लेकिन नाइजीरिया ने बुधवार को बताया कि उसके जन स्वास्थ्य संस्थान ने कहा है कि उसने अक्टूबर में एकत्र किए गए एक नमूने में यह वेरिएंट पाया था। साथ ही यह इस म्यूटेशन का पहला ज्ञात मामला है। इस बीच सऊदी अरब ने बुधवार को कहा कि उसने ओमीक्रॉन के पहले मामले की पुष्टि की है।
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इस वेरिएंट के अधिक जानकारी को लेकर कहा जा रहा है कि दो से तीन हफ्ते और लग सकते हैं। जर्मनी के गहन चिकित्सा संघ ने चेतावनी दी है कि क्रिसमस से पहले गहन चिकित्सा की जरूरत वाले कोविड मरीडों की संख्या एक नई ऊंचाई को छू सकती है और इसके पिछले साल से भी सर्वकालिक ऊंचाई पर जाने की उम्मीद है।