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दिल्ली से मेरठ सिर्फ कुछ मिनटों की कहानी, टिकट नहीं मेट्रो की तरह चलेगा स्मार्ट कार्ड

Delhi To Meerut

दिल्ली से मेरठ जाना अब और आसाना होने वाला है। हाईवे के बाद अब हाईस्पीड ट्रेन सेवा की शुरुआत भी जल्द होने वाली है।  देश के पहले आरआरटीएस (रीजनल रैपिड ट्रांजिट सिस्टम) सेमी हाईस्पीड ट्रेन को लेकर तैयारियां जोर-शोर से चल रही है। इस हाईस्पीड ट्रेन का पहला प्रोजेक्ट होगा दिल्ली से मेरठ। ये कॉरिडोर दिल्ली-गाजियाबाद होते हुए मेरठ तक बनाया जाएगा। रैपिड ट्राजिंट सिस्टम कॉरिडोर दिल्ली के सराय काले खां से लेकर मेरठ के बेगमपुरा तक बनेगा। इस ट्रैक पर ट्रेन 180 किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ्तार से चलेंगी।

ये मेट्रो रेल से तीन गुना ज्यादा गति से दौड़ेगी। ऐसे में दिल्ली से मेरठ की दूरी महज 60 मिनट में पूरी हो सकेगी। अभी फिलहाल लोगों को दिल्ली से मेरठ पहुंचने में 2.30 से तीन घंटे का समय लग जाता है। इस कॉरिडोर पर हर 5-10 मिनट के भीतर ट्रेन सर्विस उपलब्ध होगी। एक अनुमान के मुताबिक परियोजना के पूरा होने से रोज 8-9 लाख लोगों को फायदा होने की उम्मीद है।

यह अपनी तरह का पहला ऐसा प्रोजेक्ट है। इस पर हाईस्पीड रैपिड रेल के साथ ही मेरठ के कुछ हिस्से में मेट्रो ट्रेनें भी चलेंगी। इस तरह से ये टू इन वन प्रोजेक्ट है, जिसके तहत एक ही ट्रैक पर दो तरह की ट्रेनें चलाई जाएंगी। इस प्रोजेक्ट का कुछ हिस्सा 2023 तक पूरा किया जाना है, जबकि दिल्ली और मेरठ के बीच कॉरिडोर 2025 तक चालू करने का टारगेट रखा गया है। पूरी तरह एयर कंडिशंड इस ट्रेन में इकॉनमी के साथ-साथ बिजनस क्लास भी होगा। हर ट्रेन में एक कोच बिजनस क्लास का होगा और एक कोच महिला यात्रियों के लिए आरक्षित होगा। इसके कोच सीसीटीवी सर्विलांस, मोबाइल/लैपटॉप चार्जिंग पॉइंट्स, लगेज स्पेस जैसी आधुनिक सुविधाओं से लैस होंगे।

इस कॉरिडोर पर यात्रा के लिए एनसीआरटीसी स्मार्ट कार्ड या मेट्रो और किसी अन्य अथॉरिटी की तरफ से जारी ट्रैवल कार्ड का भी यूज कर सकेंगे। इसके अलावा डिजिटल और पेपर क्यूआर कोड वाले टिकट भी जारी किए जाएंगे। साथ ही यात्री एनसीआरटीसी के मोबाइल ऐप से डिजिटल क्यूआर टिकट और कार्ड आदि भी रिचार्ज करा सकेंगे।