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झारखंड: हेमंत सोरेन भी दोहराएंगे लालू-राबड़ी वाला फार्मूला, या कुछ और!

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन

झारखंड (Jharkhand) के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन (Hemant Soren) को गुरुवार का दिन कुछ खास नहीं रहा है। सूत्रों के हवाले से मिल रही खबर के मुताबिक चुनाव आयोग ने सीएम सोरेन की विधानसभा सदस्यता रद्द कर दी है। शुरुआती जानकारी के मुताबिक अवैध खनन मामले से तार जुड़ने के आरोप में सोरेन की सदस्यता रद्द की गई है।

दरअसल, केन्द्रीय चुनाव आयोग ने राज्यपाल को पत्र भेज दिया है। आयोग ने सोरेन की ओर से एक खान अपने नाम करवाने के मामले में यह सिफारिश की है। राज्यपाल रमेश बैस दोपहर 12 बजे दिल्ली से निकलेंगे और करीब दो बजे राँची पहुँचेंगे। करीब तीन बजे तक राजपत्र में प्रकाशित हो जाएगा।

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क्या है पूरा मामला जो गई हेमंत सोरेन की सदस्यता

बीजेपी (BJP) का आरोप है कि हेमंत सोरेन ने खुद को पत्थर खनन लीज आवंटित किया था, उसने इसे भ्रष्ट आचरण बताया। बीजेपी ने ऑफिस ऑफ प्रॉफिट और जन प्रतिनिधित्व अधिनियम 1951 की धारा 9a का हवाला देते हुए हेमंत सोरेन की सदस्यता समाप्त करने की मांग की थी। क्योंकि राज्य की कैबिनेट में खनन-वन मंत्री का पदभार हेमंत के पास ही है।

दरअसल सूचना के अधिकार के लिए काम करने वाले शिवशंकर शर्मा ने दो जनहित याचिकाएं दायर कर सीबीआई और ईडी से माइनिंग घोटाले की जांच कराने की मांग की थी। आरोप है कि हेमंत सोरेन ने अपने पद का दुरुपयोग कर स्टोन क्यूएरी माइंस अपने नाम आवंटित करवा ली है। सोरेन परिवार पर शैल कंपनी में निवेश कर संपत्ति अर्जित कर करने का भी आरोप है।