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Elon Musk के सपने ऐसे तबाह करेगा चीन?अंतरिक्ष में ड्रैगन का खौफनाक न्‍यूक्लियर प्‍लान

चीनी मिलिट्री की ड्रिल

चीन (China) ने पिछले दिनों कुछ ऐसा कर दिया है, जिसके बाद स्‍पेसएक्‍स (Space X) के मालिक एलन मस्‍क (Elon Musk) का सपना पलभर में मिट्टी में मिल सकता है। दरअसल, चीन ने एक ऐसा न्‍यूक्लियर ब्‍लास्‍ट किया है जो किसी भी सैटेलाइट को कुछ ही सेकेंड में पूरी तरह से तबाह कर सकता है। इसके बाद दुश्‍मन के किसी भी सैटेलाइट को बेअसर किया जा सकता है। इस ब्‍लास्‍ट के बाद होने वाले रेडिएशन से अस्‍थायी स्‍तर पर बादलों का निर्माण होता है। ये ऐसे बादल हैं जो पृथ्‍वी की निचली कक्षा में बड़ी संख्‍या में सैटेलाइट्स को तबाह कर सकते हैं। इसके बाद अब एंटी-सैटेलाइट (Anti-satellite weapon) धारणा को भी बल मिलने लगा है। हालांकि इस घटना से अब तक ये साफ नहीं हो पाया है कि क्‍या आने वाले समय में ऐसा होगा या नहीं। लेकिन, चीन ने यह साफ कर दिया है कि वह एलन मस्‍क के स्‍टारलिंक की तरह धरती की कक्षा में मौजूद सैटेलाइट्स को नष्‍ट कर सकता है।

चीनी मिलिट्री की ड्रिल

चीन के नॉर्थवेस्ट इंस्टीट्यूट ऑफ न्यूक्लियर टेक्नोलॉजी (एनआईएनटी) को पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) ऑपरेट करती है। यह वह इंस्‍टीट्यूट है जहां देश के लिए परमाणु हथियारों पर रिसर्च होती। इस इंस्‍टीट्यूट की तरफ से इसी महीने एक पेपर पब्लिश किया गया है। साउथ चाइना मॉर्निंग पोस्ट ने रिसर्चर्स के हवाले से बताया है कि अलग-अलग ऊंचाई पर परमाणु हथियार के प्रभावों को देखने के लिए विशेष रूप से विकसित एक एडवांस्‍ड कंप्यूटर मॉडल डेटा तैयार किए गए हैं।

रिसर्चर्स के मुताबिक ब्‍लास्‍ट की वजह से हवा में मौजूद कण रेडियोएक्टिव तत्‍वों (Radionuclide) में बदल सकते हैं। इसके बाद यही कण बादलों का निर्माण करते हैं। रिसर्चर्स की मानें तो 10 मेगाटन वाला हथियार इतना ज्‍यादा खतरनाक हो सकता है कि यह 80 किलोमीटर की ऊंचाई पर ब्‍लास्‍ट होता है। यह एक तरह की ड्रिल थी जिसमें चीन के सैन्‍य वैज्ञानिकों ने एंटी-सैटेलाइट हथियारों को टेस्‍ट किया था।

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रेडियोएक्टिव बादल बनेगा खतरा

अंतरिक्ष (space) के करीब जो ब्‍लास्‍ट हुआ था उसमें जो रेडियोक्टिव बादल बनता है, वह आकार में न्‍यूयॉर्क के बराबर होता है। वैज्ञानिक ल्‍यू ली और उनके साथियों की मानें तो इस तरह के ब्‍लास्‍ट में जो बादल तैयार होते हैं, वो किसी नाशपती से नजर आते हैं। 15 अक्‍टूबर को यह रिसर्च जर्नल न्‍यूक्लियर टेक्निक्‍स में जारी हुई है। पांच मिनट के अंदर यह बादल धरती से 500 किलोमीटर की ऊंचाई तक जा सकता है। साथ ही 140,000 स्‍क्‍वॉयर किलोमीटर वाले इलाके को कवर करता है।

लियू की टीम ने नोट किया कि इससे पहले कई कंप्यूटर सिमुलेशन हुए हैं जिन्होंने अंतरिक्ष में परमाणु विरोधी उपग्रह हथियारों के उपयोग का अध्ययन किया है। हालांकि, अंतरिक्ष में एक परमाणु विस्फोट हवा की अनुपस्थिति के कारण अधिक बादल नहीं पैदा करेगा।