Tejas Fighter Jet: भारत की छवी पिछले कुछ सालों में जो बदली है उसे देखकर कहा जा सकता है कि आने वाले कुछ महीने या एक दो साल में विश्व गुरु बन जाएगा। क्योंकि, इस वक्त दुनिया प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ जुड़ना चाहता है। भारत संग अपने व्यापार को मजबूत करना चाहता है। इधर सैन्य क्षेत्र में भी भारत लगातार तेजी से तरक्की कर रहा है। जिसकी डंका पूरी दुनिया में बज रही है। अमेरिका और चीन जैसे दोशों को छोड़कर अब लोग भारत के पास आ रहे हैं। अब ये भारत खरीदने के साथ ही अपने हथियारों और फाइटर जेटों को बेचता भी है। भारत के तेजस (Tejas Fighter Jet) को लेकर दुनिया में दिवानगी देखने को मिल रही है। कई देश भारत से तेजस लड़ाकू विमान (Tejas Fighter Jet) खरीदने के लिए बात कर रहे हैं। इन दिनों अर्जेंटीना समेत दुनिया के कई देशों ने भारत से लड़ाकू विमान तेजस खरीदने की इच्छा जताई है।
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भारत के विदेश मंत्रालय ने इस बात पर मुहर लगाई है कि दुनिया के कई देश भारतीय लड़ाकू विमान तेजस को खरीदने के इच्छुक हैं। तेजस पर बाकायदा बातचीत के लिए विदेश मंत्री एस जयशंकर ने अर्जेंटीना की दो दिवसीय यात्रा की थी। भारतीय लड़ाकू विमान तेजस की दुनिया में डिमांड क्यों है, इसके पीछे दो बड़ी वजह हैं इसका चीन और पाकिस्तान के जेएफ-17 से ज्यादा ताकतवर और इंपेक्टफुल होना। दूसरा तेजस दुनिया के अन्य लड़ाकू विमानों से कीमत में भी सस्ता है।
ये देश भारत से खरीदनें तेजस
दुनिया में तेज की डिमांड बढ़ती जा रही है। अर्जेटीना के अलावा मलेशिया, इंडोनेशिया और फिलीपींस सहित कई देश तेजस को खरीदने की तैयारी कर रहे हैं। हाल ही में अर्जेंटीना के साथ भारत ने परमाणु ऊर्जा और अंतरिक्ष के रणनीतिक क्षेत्रों में सहयोग की समीक्षा की। अर्जेंटीना के विदेश मंत्री कैफिएरो के साथ बातचीत में तेजस को लेकर भी चर्चा हुई। भारतीय विदेश मंत्रालय के अनुसार, अर्जेंटीना ने तेजस को खरीदने में रुचि दिखाई है।
तेजस भारतीय वायु सेना के लिए बेहद अहम है। एलएसी और एलओसी पर चीन और पाकिस्तान के खिलाफ गोहरी चुनौती में वायुसेना के लिए तेजस बड़ा और घातक हथियार है। चीन और पाक को भी ये बात अच्छे से पता है कि तेजस के आगे वो कुछ नहीं है। हालांकि, ये तेजस से मुकाबला के लिए जेएफ-17 लड़ाकू विमान की बात करते हैं। भारत ने तेजस को स्वनिर्मित किया है जबकि, जेएफ-17 को चीन और पाकिस्तान ने संयुक्त रूप से बनाया है।
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चीन और पाक के जेएफ-17 के मुकाबले तेजस काफी हल्का है और साथ ही तेज भी। हल्का होने के साथ ही तेजस का इंजन जेएफ-17 से ज्यादा पावरफुल है। इसकी पेलोड क्षमता भी ज्यादा है। इसके अलावा तेजस को नेवी की जरूरत के हिसाब से मॉडिफाई भी किया गया है। यही कारण है कि तेजस चीन और पाक के जेएफ-17 से ज्यादा अत्याधुनिक और ज्यादा क्षमता वाला लड़ाकू विमान है। तेजस की कीमत दुनिया के अन्य लड़ाकू विमानों की तुलना में काफी कम है। लेकिन, बहादुर और ताकत के मामेल में वह दूसरे लड़ाकू विमानों पर भारी है। इसका निर्माण गल्के कॉम्बेड एयरक्राफ्ट के तौर पर किया गया है जो समय के साथ लगातार अपडेट किया जाता रहता है। कम डिफेंस बजट वाले देशों के लिए तेजस संजीवनी है। सबसे बड़ा इसके एक रिकॉर्ड यह भी है कि, ये लड़ाकू विमान कभी किसी हादसे का शिकार नहीं हुआ है।