दुनिया की दो सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं वाले देश अमेरिका (US) और चीन (China) में आपसी तनाव बढ़ता ही जा रहा है। अमेरिकी संसद ने चीन (China) को आज आर्थिक रूप से तगड़ा झटका तब दिया, जब एक नए कानून को मंजूरी दी। उस कानून के मुताबिक, चीन से विकासशील देश (डेवलपिंग कंट्री) का दर्जा छिन जाएगा। अमेरिका के इस कदम का चीन की अर्थव्यवस्था पर बुरा असर पड़ेगा। वर्ल्ड बैंक और दूसरे फाइनेंशियल इंस्टीट्यूशंस से उसे अब आसानी से और कम ब्याज पर लोन नहीं मिल सकेगा। अभी तक चीन विकासशील देश (डेवलपिंग कंट्री) के दर्जे की वजह से खुद तो आसान और सस्ता कर्ज लेता था, लेकिन गरीब देशों को कठोर शर्तों पर लोन देकर अपने जाल में फंसा लेता था।
खुद सस्ता लोन लेकर गरीब देशों को जाल में फंसाया
BBC की रिपोर्ट के मुताबिक, चीन (China) ने श्रीलंका, पाकिस्तान समेत कई एशियाई और अफ्रीकी देशों को कर्ज के जाल में फंसाया। इसके अलावा चीन ने अपने यहां BBC को भी बैन कर दिया। अमेरिकी अखबार द न्यूयॉर्क टाइक्स ने बताया कि इसी साल मार्च के महीने में पहली बार अमेरिकी संसद के निचले सदन हाउस ऑफ रिप्रेजेंटेटिव्स में एक बिल लाया गया था। उस बिल की खास बात यह थी कि उसका मकसद सिर्फ चीन पर लगाम कसना था। अब उस बिल को अमेरिकी संसद ने मंजूरी दे दी है। इस दौरान कई अमेरिकी सांसदों ने कहा कि चीन ने डेवलपिंग कंट्री स्टेट्स का नाजायज फायदा उठाया है, इसलिए अब उसे ये स्टेट्स नहीं दिया जाएगा।
ड्रैगन अब दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी इकोनॉमी
बता दें कि अमेरिका 26.854 ट्रिलियन डॉलर के साथ दुनिया की सबसे बड़ी इकॉनमी है। वहीं, चीन 19.374 ट्रिलियन डॉलर के साथ दूसरी सबसे बड़ी इकॉनमी है। चीन के बाद जापान 4.410 ट्रिलियन डॉलर के साथ तीसरे नंबर और जर्मनी 4.309 ट्रिलियन के साथ चौथे नंबर पर है।
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