उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले में आज सुबह भूकंप के झटके महसूसस किए गए हैं। हालांकि, झटके हलके होने के कारण लोगों को अहसास नहीं हुआ। उत्तरकाशी से 39किलोमीटर के करीब 5बजकर 3मिनट पर भूकंप आया। जहां पर इस भूकंप की तीव्रता रिक्टर पैमाने पर लगभग 4.1मापी गई है। फिलहाल कहीं से किसी भी तरह के जानमाल के नुकसान की खबर नहीं मिली है।
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उत्तरकाशी में जब भूकंप के झटके महसूस किए गए तो इस दौरान लोग जग रहे थे। लेकिन, ठंड होने के कारण घरों के भीतर थे। कुछ जगहों पर मकान हिलने पर वह घर से बाह निकल आए। फिलहाल भूकंप के केंद्र का पता नहीं चल सकता है। बता दें कि रिक्टर स्केल पर 7.0या उससे अधिक की तीव्रता वाले भूकंप को सामान्य से कहीं अधिक खतरनाक माना जाता है। इसी पैमाने पर 2.0या इससे कम तीव्रता वाला भूकंप सूक्ष्म भूकंप कहलाता है। जोकि सामान्यतः महसूस नहीं होते। ऐसे में 4.1की तीव्रता वाले भूकंप घरों और अन्य रचनाओं को क्षतिग्रस्त कर सकते हैं।
वहीं, सीमांत जनपद भूकंप की दृष्टि से सर्वाधिक संवेदनशील जोन चार व पांच में है। ऐसे में बीते साल 1991में विनाशकारी भूकंप आया था और जानमाल का भारी नुकसान हुआ था। हालांकि इसके बाद से यहां अब तक कई बार भूकंप के झटके आ चुके हैं। पिछले ही साल उत्तराखंड के पित्थौरगढ़ और हिमाचल के किन्नौर समेत कई इलाकों में भूकंप के झटके आए थे। भूगर्भ विज्ञानियों का कहना है कि इस साल उत्तराखंड और हिमाचल में भूस्खलन की बड़े पैमाने पर घटनाएं हुई हैं। इसमें काफी संख्या में लोग मारे गए हैं। शिमला में भी भूस्खलन की घटनाएं अगस्त माह में हुई हैं। बारिश में यहां लैंडस्लाइड होता है, लेकिन इस बार इनकी संख्या काफी ज्यादा होना चिंता पैदा करता है।