Dhoni-Virat:हाल के दिनों में जिस तरह बांग्लादेश में भारतीय महिला क्रिकेट टीम की कप्तान हरमनप्रीत कौर और अंपायर्स के बीच तीखी बहस हुई वो इन दिनों काफी सुर्खियों में है। वैसे ये कोई पहला मौका नहीं है जब क्रिकेट के खेल में कोई कप्तान और अंपायर्स के साथ ऐसे विवाद में फंसे हो।
अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट के नियमों के मुताबिक अंपायर्स पर अंगुली उठाना किसी अपराध से कम नहीं है। वैसे अंपायर्स भी इंसान ही होते हैं,अंपायर्स से भी गलतियां होती है। ऐसे में कई बार प्लेयर्स के साथ उनकी तीखी बहस हो जाती है।
जब भी क्रिकेट मैदान पर इस तरह की हालत पैदा होते हैं तो टीम के कप्तान की जिम्मेदारी अंपायरों से बातचीत कर मामला सुलझाने के साथ-साथ अपने प्लेयर्स को समझाने की होती है, लेकिन अगर खुद कप्तान ही अंपायर्स से उलझ जाए तो ऐसी स्थिति में क्या किया जाए?
ऐसे भी कई उदाहरण हैं जहां कप्तान ही आपा खो बैठे। चलिए आपको बताते हैं क्रिकेट इतिहास के 5 सबसे मशहूर कप्तान-अंपायर विवाद।
1985 में जावेद मियांदाद कांड
साल 1985 में पाकिस्तान और न्यूजिलैंड के बीच टेस्ट सीरीज । हालांकि टेस्ट सीरीज 1-1 से बराबरी पर थी,औऱ तीसरा टेस्ट चल रहा था। तीसरे मैच में जीतने के लिए पाकिस्तान को दो विकेट की दरकार थी। इसी दौरान पाकिस्तान के कप्तान जावेद मियांदाद ऑन-फिल्ड अंपायर के साथ बहस करने लगे,क्योंकि वसीम अकरम ने लंच सेशन के बाद आखिरी बॉल बाउंसर फेंकी थी,जिस पर अंपायर्स ने उन्हें चेतावनी दे दी। इस पर जावेद गुस्सा गए और अंपायर्स से तीखी बहस करने लगे।
रिकी पोंटिंग जब 2010 में अंपायर्स से भिरे
ऑस्ट्रेलिया औऱ इंग्लैंड के बीच मेलबर्न में चौथे टेस्ट के दौरान रिकी पोंटिंग की पाकिस्तानी अंपायर्स अलीम डार से बड़ी बहस हो गई। रिकी पोंटिंग की ऑस्ट्रेलियाई टीम एशेज सीरीज में हारने के कगार पर थी। इस दौरान इंग्लिश बल्लेबाज केविन पीटरसन के खिलाफ विकेट के पीछे कैच की अपील को अंपायर ने नकार दिया था। पोटिंग ने रेफरल लिया, लेकिन वो भी बेकार गया। फिर क्या था पोंटिंग रेफरल ठुकराए जाने के बाद स्क्वायर-लेग अंपायर अलीम डार के पास गए और बहस शुरू कर दी।
कैप्टन कूल धोनी भी खो चुके हैं
कैप्टन कूल नाम से मशहूर धोनी साल 2012 में अंपायर्स के खिलाफ सबसे पहली बार गुस्सा होते हुए नजर आए थे,जब भारत-ऑस्ट्रेलिया के बीच जारी एक वनडे के दौरान उन्होंने सुरेश रैना की बॉल पर माइकल हसी के खिलाफ स्टंपिंग की अपील की थी, जिसे स्क्वायर-लेग अंपायर ने थर्ड अंपायर ब्रूस ऑक्सनफोर्ड के पास भेजा था। थर्ड अंपायर ने पहले हसी को आउट दिया, लेकिन जब वह डग आउट की ओर बढ़ रहे थे तो मैदानी अंपायर बिली बाउडन ने उन्हें वापस बुला लिया। दरअसल, थर्ड अंपायर ने गलती से नॉटआउट की जगह आउट का बटन दबा दिया था। फिर क्या था भारतीय कप्तान मैदानी अंपायर्स से भिड़ गए।
कैप्टन विराट कोहली की 2015 में बहस हुई थी
मैदान पर खिलाड़ियों और अंपायर्स से भिड़ने की कहानी विराट कोहली से भी जुड़ी हुई है।विराट कोहली आईपीएल 2015 के दौरान श्रीलंकाई अंपायर कुमार धर्मसेना के साथ तीखी बहस कर बैठा था। वर्षा प्रभावित मैच में सनराइजर्स हैदराबाद की बैटिंग के दौरान ओवर्स में कटौती को लेकर विराट ने अपना आपा खोया था।
हरमन का अंपायर्स पर आरोप
इस कड़ी में ताजा मामला भारतीय महिला क्रिकेट टीम की कप्तान हरमनप्रीत कौर का है। बांग्लादेश के खिलाफ दूसरे वनडे में खुद को आउट दिए जाने के बाद उन्होंने पहले तो स्टम्प्स पर बैट दे मारा बाद में पवेलियन की ओर जाते हुए भी अंपायर्स को भला-बुरा कहने लगीं।
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