केंद्र और राज्य/संघ शासित प्रदेश की सरकारों द्वारा रोकथाम, परीक्षण, अलगाव और उपचार के लिए केंद्रित और प्रभावपूर्ण कोशिशों के कारण देश में कोविड-19 से ठीक होने के मामलों की दर में बढ़ोत्तरी हुई है और इन मामलों में होने वाली मृत्यु दर में भी तेजी से गिरावट दर्ज की गई है।
प्रभावी निगरानी और बेहतर परीक्षण नेटवर्क के माध्यम से सकारात्मक मामलों का शीघ्र पता लगाना सुनिश्चित किया गया है और इसके कारण गंभीर और नाजुक मामलों का समय पर नैदानिक प्रबंधन किया गया है। वैश्विक स्तर पर तुलनात्मक रूप में, भारत में प्रति मिलियन मामलों की संख्या सबसे कम मामलों वाले देशों में से एक है, जहां पर मामलों का प्रति मिलियन वैश्विक औसत 2,425 है वहीं भारत में यह औसत 1,469 है।
केंद्र और राज्य/संघ शासित प्रदेश की सरकारों द्वारा "टेस्ट ट्रैक ट्रीट" रणनीति पर समन्वित कार्यान्वयन के फलस्वरूप, वैश्विक स्तर पर तुलनात्मक रूप में मृत्यु दर में कमी को सुनिश्चित किया जा सका है और इसमें लगातार गिरावट दर्ज की जा रही है। देश में कोविड-19 मामलों में मृत्यु दर कम होकर आज 2.04 प्रतिशत रह गई है।
कोविड-19 के कारण होने वाली मृत्यु दर में कमी लाने के केंद्रित प्रयासों के साथ, भारत प्रति मिलियन सबसे कम मृत्यु संख्या वाला देश है यहां पर यह प्रति मिलियन 30 है जबकि इसका वैश्विक औसत 91 है।
कोविड-19 से ठीक होने वालों की संख्या में तेजी से बढ़ोत्तरी हुई है। पिछले 24 घंटों में 48,900 रोगियों को डिस्चार्ज किए जाने के साथ ही, भारत में कोविड-19 से ठीक होने वाले कुल मामलों की संख्या बढ़कर 14,27,005 हो चुकी है। ठीक होने की दर, लगातार बढ़ोत्तरी करते हुए, 68.32 प्रतिशत हो चुकी है।
वर्तमान समय में देश में सक्रिय मामलों की संख्या 6,19,088 हैं, जो कि वास्तविक रूप से भारत में एक केस लोड हैं, जो कि कुल सकारात्मक मामलों का 29.64 प्रतिशत हैं, जिन्हें चिकित्सीय निगरानी में या तो अस्पतालों में या घर पर अलगाव में रखा गया है।
पूरे देश में सुविधाजनक परीक्षण के लिए विस्तारित नैदानिक प्रयोगशाला नेटवर्क और सुविधा केंद्रों की स्थापना के परिणामस्वरूप, भारत में कोविड-19 संक्रमण का पता लगाने लिए अबतक कुल 2,33,87,171 नमूनों का परीक्षण किया गया है। पिछले 24 घंटों में 5,98,778 नमूनों का परीक्षण किया गया। प्रति मिलियन परिक्षण में भी वृद्धि दर्ज की गई है जो आज बढ़कर 16,947 हो चुकी है।
इस व्यापक परीक्षण का एक महत्वपूर्ण कारक, नैदानिक प्रयोगशालाओं के नेटवर्क का लगातार हो रहा विस्तार है। सरकारी क्षेत्र में 936 प्रयोगशालाओं और निजी क्षेत्र में 460 प्रयोगशालाओं के साथ, भारत में कोविड-19 की जांच के लिए कुल प्रयोगशालाओं की संख्या 1,396 हैं।.