Dev Deepawali 2020: देव दीपावली पर काशी के 84 घाट 15 लाख दियों से रोशन होंगे। अयोध्या दीपोत्सव के बाद अब उत्तर प्रदेश की योगी सरकार काशी की विश्व प्रसिद्ध देव दीपावली को भव्यता के साथ मनाने जा रही है। इस बार देव दीपावली 30 नवंबर को है (Dev Deepawali 2020)। मान्यता है कि इस दिन देवता दीपावली मनाते हैं। सभी देवी-देवता काशी में गंगा नदी के तट पर आकर दीप जलाकर दीपावली मनाते हैं (Deepawali of Gods)। पिछले साल देव दीपावली के पर्व पर काशी के घाटों पर को 10 लाख दियों से रोशन किया गया था। जबकि इस बार देव दीपावली में 15 लाख से अधिक दियों को जलाया जाएगा (84 Kashi Ghats)। काशी में देव दीपावली का काफी महत्व है (Significance of Kashi Dev Deepavali)।
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देव दीपावली कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल एवं मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ शामिल होंगे।। देव दीपावली के अवसर पर गंगा नदी में पानी की लहरों पर लेजर शो एवं प्रोजेक्टर के माध्यम से काशी की महिमा, शिव की महिमा एवं गंगा अवतरण आदि का भव्य प्रदर्शन होगा। बनारस के घाटों पर देव दिवाली हर साल बड़े पैमाने पर मनाई जाती है और दुनिया भर से लोग इसे देखने आते हैं।
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<strong>काशी देव दीपावली का महत्व </strong>
मान्यता है कि देव दीपावली के दिन सभी देवता बनारस के घाटों पर आते हैं। कार्तिक पूर्णिमा के दिन भगवान शिव ने त्रिपुरासुर नाम के राक्षस का वध किया था। त्रिपुरासुर के वध के बाद सभी देवी-देवताओं ने मिलकर खुशी मनाई थी। काशी में कार्तिक पूर्णिमा के दिन देव दीपावली मनाने की परंपरा सदियों से चली आ रही है। इस दिन दीपदान करने का विशेष महत्व होता है। मान्यता है कि भगवान शंकर ने खुद देवताओं के साथ गंगा के घाट पर दिवाली मनाई थी, इसीलिए देव दीपावली का धार्मिक आध्यात्मिक और सांस्कृतिक महत्व भी बढ़ जाता है।
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