केंद्रीय बैंक आरबीआई ने यथास्थिति बनाए रखा (status quo) और रेपो रेट की दरों में कोई बदलाव नहीं करने का फैसला किया है। रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया के गवर्नर शक्तिकांत दास ने इसकी घोषणा की। आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने रेपो रेट को 4 फीसदी और रिवर्स रेपो रेट को 3.5 फीसदी पर स्थिर रखा है। यह लगातार सातवीं बार है जब एमपीसी ने दरों में कोई बदलाव नहीं किया है। इसके साथ ही रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया के गवर्नर शक्तिकांत दास ने मॉनिटरी पॉलिसी की घोषणा की। मॉनिटरी पॉलिसी कमिटी की तीन दिनों की बैठक में क्या फैसला लिया गया है।
गवर्नर दास ने कहा कि कोरोना की दूसरी लहर से इकोनॉमी उबर रही है। सप्लाई और डिमांड का बैलेंस बिगड़ गया है जिसे धीरे-धीरे ठीक किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि जून के मुकाबले जुलाई में आर्थिक सुधार बेहतर रहा। इसके साथ में उन्होंने यह भी कहा कि कोरोना की तीसरी लहर के प्रति चौकन्ना रहने की जरूरत है। रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया ने वित्त वर्ष 2021-22 के लिए जीडीपी ग्रोथ रेट का अनुमान 9.5 फीसदी बरकरार रखा है।
आरबीआई गवर्नर ने कहा कि मई में इंफ्लेशन में बढ़ोतरी चौंकाने वाला रहा। एग्रीगेट डिमांड में सुधार हो रहा है लेकिन अंडरलाइंग परिस्थितियां अभी भी कमजोर हैं। दास के मुताबिक तेल कीमतों में उतार-चढ़ाव से सीपीआई को कम करने में मदद मिलेगी। केंद्रीय बैंक ने अप्रैल-जून तिमाही के लिए जीडीपी ग्रोथ का अनुमान संशोधित कर 21.4 फीसदी, जुलाई-सितंबर 2021 के लिए 7.3 फीसदी, अक्टूबर-दिसंबर 2021 के लिए 6.3 फीसदी और जनवरी-मार्च 2022 के लिए 6.1 फीसदी का अनुमान लगाया है।
मई 2021 में इंफ्लेशन बढ़कर 6.3 फीसदी पर पहुंच गई। हालांकि अगले ही महीने जून में इसमें कुछ गिरावट रही और यह लुढ़ककर 6.26 फीसदी रह गई। पिछली नीतिगत बैठक में आरबीआई ने कंज्यूमर प्राइस इंडेक्स (सीपीआई) को वित्त वर्ष 2021-22 के लिए 5.1 फीसदी पर प्रोजेक्ट किया था। इस प्रोजेक्शन के तहत जुलाई-सितंबर के लिए सीपीआई 5.4 फीसदी का अनुमान लगाया गया था। जून 2021 में आरबीआई ने अपनी पिछली एमपीसी में ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं किया था। रेपो रेट को 4 फीसदी और रिवर्स रेपो रेट को 3.35 फीसदी पर स्थिर रखा गया था।