तेलंगाना की इंजीनियर मनासा वाराणसी को फेमिना मिस इंडिया 2020 (Miss India) का ताज जीता तो मुंबई (Mumbai) की झुग्गियों से उठ कर महलों तक पहुंचने वाली मान्या (Manya Singh ) ने सबका दिल जीत लिया। मान्या को मिस इंडिया 2020 का रनर अप घोषित किया गया है। जबकि हरियाणा की मनिका श्योकंद को वीएलसीसी फेमिना मिस ग्रैंड इंडिया 2020 घोषित किया गया, जबकि मान्या सिंह को प्रतियोगिता में उपविजेता रहीं, लेकिन चर्चा मान्या सिंह की हो रही है।
मान्या के पिता एक रिक्शा चालक हैं। मिस इंडिया तक पहुंचने के लिए उन्हें खई मुश्किलों का सामना करना पडा। उन्होंने बताया कि उनके जीवन में कई रातें ऐसी भी आई जब वह बिना खाना खाए ही सोए। इंस्टाग्राम पर अपने परिवार की तस्वीरों के शेयर करते हुए मान्या ने लिखा, ‘मैंने भोजन और नींद के बिना कई रातें बिताई हैं। मैं कई दोपहर मीलों पैदल चली। मेरा खून, पसीना और आंसू मेरी आत्मा के लिए खाना बने और मैंने सपने देखने की हिम्मत जुटाई। रिक्शा चालक की बेटी होने के नाते, मुझे कभी स्कूल जाने का अवसर नहीं मिला क्योंकि मुझे अपनी किशोरावस्था में काम करना शुरू करना था।
माता-पिता ने मान्या की परीक्षा की फीस का भुगतान करने के लिए जो भी थोड़े बहुत गहने उनके थे, उन्हें गिरवी रख दिया था। मिस इंडिया के आधिकारिक इंस्टाग्राम अकाउंट की ओर से पिछले महीने साझा की गई पोस्ट में मान्या सिंह के बारे में कहा गया था, 'उनका मानना है कि शिक्षा सबसे मजबूत हथियार है, जो हर समय हमारे पास रह सकता है।'
सोशल मीडिया पोस्ट के अनुसार, मान्या ने एचएससी के दौरान सर्वश्रेष्ठ छात्र का पुरस्कार जीता था। वह स्कूल में किताब और फीस की परेशानी का सामना तो करती ही थीं, साथ ही पिता के रिक्शा चालक होने के लिए सहपाठियों द्वारा मजाक की पात्र भी बनाई जाती थीं।