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जंक फूड से Diabetes के करीब जा रहे बच्चे, माता पिता इन चीज़ों का रखें ख़ास ख्याल

Diabetes: घर में बच्चे का बर्थडे मनाने का मौका आया तो मम्मी-पापा उसके लिए केक काटते हैं या फिर बच्चे और उसके दोस्तों में चाकलेट-टाफी-चिप्स बांटकर बर्थडे सेलिब्रेट करते हैं। क्या आपने कभी सोचा है कि ये चाकलेट, टाफी, केक, आइसक्रीम और जरूरत से ज्यादा चिप्स-नमकीन आपके बच्चे को डायबिटीज, हायपरटेंशन या ह्दय रोग का मरीज तो नहीं बना देंगे। हाल के दशकों में जंक फूड या ‘फास्ट फूड की खपत में काफी वृद्धि हुई है। इसमें हाई कैलोरी कंटेंट, ज्यादा शुगर, अनहेल्दी फैट्स और लो न्यूट्रिशन होता है। दुर्भाग्य से, इसका सार्वजनिक स्वास्थ्य पर गंभीर परिणाम पड़ा है।

इसका टाइप 2 डायबिटीज की वैश्विक महामारी में बड़ा योगदान है। कभी मध्यम आयु वर्ग और अधिक उम्र के वयस्कों की बीमारी समझी जाने वाली टाइप- 2 डायबिटीज अब बच्चों और किशोरों सहित सभी उम्र के लोगों को प्रभावित कर रही है। ऐसे में यदि आप भी अपने नौनिहालों की जिद के आगे उन्हें जंक फूड खाने की अनुमति दे रहे हैं तो यह खतरे का संकेत हैं।

जंक फूड से Diabetes के करीब जा रहे बच्चे

अप्रैल में अपोलो अस्पताल के एक स्टडी से पता चला कि भारत में 65 प्रतिशत मौतें और 40 प्रतिशत अस्पताल में भर्ती होने के पीछे ये गैर-संचारी रोग थे। एक्सपर्ट बच्चों में टाइप 2 डायबिटीज के मामलों की संख्या में वृद्धि देख रहे हैं, खासकर 12-18 वर्ष की आयु के किशोरों और कम उम्र के लोगों में।उनका मानना है कि इस बात की बहुत अधिक संभावना है कि जिन लोगों में बचपन में मोटापा विकसित हो जाता है, वे वयस्क होने पर भी मोटे बने रहेंगे। इसके अतिरिक्त, टाइप 2 डायबिटीज वाले युवाओं में, जैसे-जैसे उनकी उम्र बढ़ती है, जटिलताओं की संभावना होती है।हेल्थ प्रोफेशनल्स के अनुसार, जो लोग अच्छा अलग-अलग तरह की डाइट ले सकते हैं उन्हें वास्तव में अतिरिक्त पोषण पेय लेने की आवश्यकता नहीं है। अलग-अलग डाइट में अच्छी मात्रा में सब्जियां या मांसाहारी भोजन और फल शामिल हैं।

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