कोरोना के खिलाफ लड़ाई और तेज होने वाली है। ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (DCGI) ने मॉडर्ना की कोविड-19 वैक्सीन के भारत में इमरजेंसी इस्तेमाल के लिए आयात की मंजूरी दे दी है। कोविशील्ड, कोवैक्सीन और स्पुतनिक V के बाद मॉडर्ना चौथी वैक्सीन है जिसे भारत में मंजूरी मिली है। सूत्रों की माने तो सिप्ला ने सोमवार को मॉडर्ना वैक्सीन आयात करने के लिए डीसीजीआई से अनुमति मांगी थी।
बता दें कि DCGI ने 1 जून को ही विदेशी वैक्सीन के लिए नियमों में ढील दी थी। DCGI ने बताया था कि अगर किसी वैक्सीन को अमेरिका, यूरोप, यूके, जापान या डब्ल्यूएचओ से मंजूरी मिल चुकी है, तो उसे भारत में ब्रीजिंग ट्रायल करने की जरूरत नहीं है। विश्व स्वास्थ्य संगठन ( डब्ल्यूएचओ) से मॉडर्ना को पहले ही मंजूरी मिली हुई है। WHO के मुताबिक, मॉडर्ना की वैक्सीन कोरोना के खिलाफ 94.1% तक असरदार है। डब्ल्यूएचओ का कहना है कि मॉडर्ना वैक्सीन की पहले डोज लगने के 14 दिन बाद कोरोना होने का खतरा 94.1% तक कम हो जाता है।
इससे पहले सरकार ने रूस के स्पूतनिक वी टीके को इमरजेंसी इस्तेमाल की मंजूरी दी थी। इसी के साथ देश में अब तक कुछ चार टीके हो गए हैं जिनके इमरजेंसी इस्तेमाल की मंजूरी मिली चुकी है। जिनमें भारत के दो (कोविशील्ड और कोवैक्सीन) टीके हैं। इस तरह से देखें तो भारत में अब कुल चार टीके हो गए जिनको सरकार की ओर से इमजरेंसी इस्तेमाल की मंजूरी मिल चुकी है।