Hindi News

indianarrative

Corona: कोरोना वायरस ठीक होने के बाद भी नहीं छोड़ता आपका पीछा, दिल को पहुंचाता है नुकसान

photo courtesy Google

कोरोना वायरस की दूसरी लहर का कहर जारी है। वायरस हर रोज हजारों लोगों को अपनी चपेट में ले रहा है। जैसे-जैसे दिन बढ़ते जा रहे है, ये वायरस उतना ही ताकतवर होता जा रहा है। दूसरी लहर आपके फेफड़ें और दिल पर सीधा वार करता है। एक रिसर्च के मुताबिक, 70 फीसदी मरीज कोरोना के ठीक होने के बाद भी दिल से जुड़ी बीमारी से पीड़ित है। इसके पीछे की वजह विशेषज्ञ शरीर में ऑक्सीजन की कमी को मान रहे है। इसके अलावा, एक्सपर्ट्स का मानना है कि चिंता भी हृदय गति को बढ़ाने के लिए जिम्मेदार है। अगर में भी ये लक्षणों दिखते है, तो आप तुरंत अस्पताल में इलाज के जाएं।

चक्कर आना- चक्कर आना कार्डियक अरेस्ट का एक बड़ा चेतावनी लक्षण हो सकता है। हां, अगर आपको चक्कर आ रहा है, इतनी थकान हो रही है कि खड़ा होना और बैठना मुश्किल हो रहा है, तो जल्द से जल्द डॉक्टरी सहायता लें।

पसीना ज्यादा आना- ज्यादा पसीना आना हार्ट अटैक के प्रमुख लक्षणों में से एक रहा है, इसलिए, भले ही आप कोरोना से ठीक हो गए हों, अपने शरीर के तापमान की जांच करना सुनिश्चित करें और जल्द से जल्द डॉक्टरी सहायता लें।

छाती में दर्द- अगर आप अपने दिल में किसी तरह की बेचैनी महसूस कर रहे है, जैसे- सीने में दर्द, भारीपन, बेचैनी है तो ये चिंता का विषय है। अगर दर्द का इलाज नहीं किया जाता है तो ये आपकी बाहों, गर्दन और अन्य भागों में फैल सकता है।

सांस फूलना- अगर कोई ठीक से सांस नहीं ले पा रहा है और सांस की तकलीफ हो रही है। तो ये एक गंभीर समस्या हो सकती है। जिस पर जल्द से जल्द ध्यान देने की जरूरत है। संभावना है कि आपके शरीर में आपके महत्वपूर्ण अंगों में ऑक्सीजन की कमी हो रही है। ये न सिर्फ आपके दिल को बल्कि आपके फेफड़ों को भी प्रभावित कर सकता है।

ऑक्सीजन के स्तर में गिरावट- कोरोना से ठीक होने के बाद भी अपने ऑक्सीजन के स्तर को मापते रहें क्योंकि आपके ऑक्सीजन के स्तर में उतार-चढ़ाव खतरनाक हो सकता है। ये अनियमित दिल की धड़कन और अन्य गंभीर मुद्दों का परिणाम हो सकता है जिन्हें नजरअंदाज नहीं किया जा सकता है. इसलिए अपने ऑक्सीमीटर को हमेशा अपने पास रखें।