कोरोना की दूसरी लहर ने दुनिया भर में तबाही मचाई। इस लहर में लाखों लोगों की जान गई। वैज्ञानिकों का कहना है कि वायरस अपना रूप बदल रहा है। अब एक नए वैरिएंट ने दस्तक दे दी है। इसे डेल्टा प्लस कहा जा रहा है। इस नए वैरिएंट से चिंता फिर से बढ़ गई है। यूरोप समेत कई देशों में तालाबंदी बढ़ने का खतरा मंडराने लगा है। क्योंकि ब्रिटेन समेत कई यूरोपीय देशों में प्रतिबंधों ने छूट देने की तैयारी की जा रही है। लेकिन विशेषज्ञों की चेतावनी के बाद इसे टालने की तैयारी है।
विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) और यूके में अधिकारियों ने अत्यधिक संक्रामक डेल्टा वेरिएंट को लेकर चेतावनी जारी की है। साथ ही कहा है कि यूके में 90 फीसदी नए कोरोना मामलों के लिए डेल्टा वेरिएंट ही जिम्मेदार है। वहीं स्पेन में मैड्रिड के उप स्वास्थ्य प्रमुख एंटोनियो जापाटेरो ने कहा है कि डेल्टा वेरिएंट छह से सात हफ्तों में देश में संक्रमण का सबसे बड़ा कारण होगा।
डब्ल्यूएचओ ने गुरुवार को चेतावनी देते हुए का था कि डेल्टा वेरिएंट पूरे यूरोप में अपनी जड़ें जमाने को तैयार है। क्योंकि दर्जनों देश कोरोना प्रतिबंधों में छूट देने जा रहे हैं। ऐसे में कोरोना का यह वेरिएंट नए केसों में वृद्धि कर सकता है। इसलिए अभी उन्हें इसे टालना होगा। यूरोप में डब्ल्यूएचओ के क्षेत्रीय निदेशक हैंस क्लूज ने कहा कि डेल्टा वेरिएंट (बी1617.2) कुछ टीकों से बचने में सक्षम होने के संकेत दिखाए हैं और 60 वर्ष से अधिक आयु के लोगों के लिए यह बड़ा खतरा पैदा कर सकता है।
देश में डेल्टा का पहला मामला सामने आने की पुष्टि 29 अप्रैल को की गई थी। स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि दक्षिणी फ्रांस के बचेस डू रोने और लोत एत गारोने क्षेत्र में तीन लोगों के वायरस के नए स्वरूप से संक्रमित होने की पुष्टि हुई है। तीनों लोगों ने पिछले दिनों भारत की यात्रा की थी। देश के स्वास्थ्य मंत्री ने ओलिवियर वेरन ने कहा कि फ्रांस में कोरोना के स्वरूप के कई समूह लोगों को प्रभावित कर रहे हैं, खासतौर पर दक्षिण-पश्चिम क्षेत्र में।
कोरोना के डेल्टा वेरिएंट के खतरे को देखते हुए ब्रिटेन में लॉकडाउन की पाबंदियों को चार हफ्ते और बढ़ाया गया है। इससे पहले इन पाबंदियों को हटाने के लिए 21 जून की तारीख तय की गई थी। हालांकि, अब यह तालाबंदी 19 जुलाई को खत्म होगी। ब्रिटेन में रविवार को कोरोना वायरस के 7490 नए मामले आए थे और आठ लोगों की मौत हुई थी। गत हफ्ते मामलों में उससे सात दिन पहले के मामलों की तुलना में 49 फीसदी की बढ़ोतरी देखी गई है। विशेषज्ञ इसके पीछे डेल्टा वेरिएंट को कारण मान रहे हैं।