भारतीय किसान यूनियन के प्रवक्ता राकेश टिकैत के काफिले पर अलवर में हमले के बाद पश्चिमी उत्तर प्रदेश में पंचायत चुनाव के समीकरण बदल सकते हैं। वेस्ट यूपी के पांच उन जिलों में पहले चरण में चुनाव है, जहां बीते चार महीने से किसान आंदोलन का ज्यादा प्रभाव दिखा है। वहीं, आज गाजीपुर बॉर्डर पर हमले को लेकर पंचायत बुलाई गई है। इसमें कृषि कानूनों का विरोध तेज करने का फैसला संभावित है।
राकेश टिकैत पर हमले की घटना के बाद भाकियू के राष्ट्रीय अध्यक्ष चौधरी नरेश टिकैत ने गाजीपुर बॉर्डर पर किसानों की महापंचायत का ऐलान किया है। इस पंचायत में पश्चिमी उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के किसान हिस्सा लेंगे। नरेश टिकैत आज दोपहर यूपी गेट पर किसानों की महापंचायत में कई खापों के चौधरियों के साथ पहुंचेंगे। बीकेयू (BKU) की तरफ से किसानों को यूपी गेट पर आंदोलन स्थल पहुंचने का संदेश दिया गया है। वहीं शनिवार को किसानों को समर्थन देने के लिए कर्नाटक और तमिलनाडु से भी कुछ किसान पहुंचे। पंचायत में संयुक्त किसान मोर्चा तहत सभी किसान संगठन भी शामिल होंगे।
बताते चलें कि, अलवर जिले के ततारपुर में पूर्व छात्रसंघ अध्यक्ष कुलदीप यादव के नेतृत्व में करीब 30-40 यूवाओं ने भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत की गाड़ी पर हमला बोला और मुर्दाबाद के नारे लगाए थे। हमले के बाद राकेश टिकैट ने सरकार को जिम्मेदार ठहराया, बीकेयू की तरफ से राकेश टिकैत के लिए सुरक्षा की मांग की गई है।
वहीं, टिकैत पर हमले के विरोध में गाजीपुर बॉर्डर पर बैठे किसानों का गुस्सा फूट पड़ा। शुक्रवार शाम प्रदर्शनकारी किसानों ने दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस वे को 1 घंटे से अधिक समय के लिए बंद कर दिया था। इस दौरान किसानों ने प्रशासन से टिकैत की सुरक्षा पर भी सवाल खड़े किए। वहीं, टिकैत की अपील के बाद करीब 1 घंटे से बंद पड़े हाइवे को किसानों ने खोल दिया।