देश में मौसम का पूवार्नुमान लगाने के लिए सरकार अब और अधिक हाईटेक तरीकों का इस्तेमाल करेगी। 250 करोड़ रुपये की लागत से एक ऐसी विमान प्रणाली को खरीदने की तैयारी है, जो देश के विभिन्न हिस्सों में मौसम के बारे में सटीक भविष्यवाणी करने में मदद करेगा।
विज्ञान एवं प्रौद्यौगिकी तथा पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय यह विमान खरीदने पर विचार कर रहा है। इस विभाग के मंत्री डॉ. हर्षवर्धन ने शुक्रवार को लोकसभा में एक सवाल के लिखित जवाब में विमान खरीदने के बारे में जानकारी दी।
दरअसल, लोकसभा में शुक्रवार को एक सांसद ने सवाल किया था कि क्या सरकार मौसम पूवार्नुमान से संबंधित प्रयोग करने के लिए एक खास विमान खरीदने के प्रस्ताव पर विचार कर रही है? खरीदे जाने वाले विशेष विमान से क्या लाभ होंगे?
इस सवाल का लिखित में जवाब देते हुए विज्ञान एवं प्रौद्यौगिकी तथा पृथ्वी विज्ञान मंत्री डॉ. हर्षवर्धन ने बताया कि मंत्रालय देश में वायुमंडलीय प्रक्रिया अध्ययनों के लिए एक उपकरण युक्त विशेष शोध विमान की खरीद पर विचार कर रहा है। वैज्ञानिक उपकरणों से लैस इस विमान प्रणाली की कीमत ढाई सौ करोड़ रुपये हो सकती है।
केंद्रीय मंत्री डॉ. हर्षवर्धन ने बताया कि इस विमान का उपयोग देश के विभिन्न हिस्सों में मौसम, वातावरण में विभिन्न वायुमंडलीय अनुसंधान समस्याओं के समाधान के लिए किए जाने की संभावना है। मौसम संबंधी क्लाउड भौतिकी डेटा में यह मदद करेगा।
मंत्री ने बताया कि इसके अलावा, यह वायु प्रदूषण मूल्यांकन और भारत में स्वास्थ्य, दृश्यता, जलवायु पर्यावरण और जल विज्ञान संबंधित अध्ययनों के समाधान में भी मददगार हो सकता है।
केंद्रीय मंत्री डॉ. हर्षवर्धन ने बताया कि इस पूरी योजना के नोडल एजेंसी के रूप में भारतीय ऊष्णकटिबंधीय मौसम विज्ञान संस्थान (आईआईटीएम) पुणे काम करेगा। यह पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय के तहत एक ऑटोनॉमस बॉडी है। इस नोडल एजेंसी के जरिए जनता को मौसम के बारे में जानकारी मिलेगी।.