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Guru Purnima 2022 : आज गुरु पूर्णिमा पर बन रहा है शुभ संयोग, यहां देखें पूजा विधि से लेकर शुभ मुहूर्त और महत्व

गुरु पूर्णिमा शुभ मुहूर्त और महत्व

हिन्दू धर्म में गुरु पूर्णिमा का विशेष महत्व बताया गया है। पंचांग के अनुसार गुरु पूर्णिमा आषाढ़ मास की पूर्णिमा तिथि पर होती है। इस दिन महाभारत, गीता और पुराणों के रचयिता महर्षि वेद व्यास का जन्म हुआ था। इस साल गुरु पूर्णिमा 13जुलाई दिन बुधवार को मनाई जा रही है। इस खा दिन पर गुरु का ध्यान करने और पूजा-पाठ करने से विशेष लाभ मिलता है। तो आइये जानते हैं  कि शुभ मुहुर्त, शुभ संयोग, गुरु पूर्णिमा का महत्व और विधि। साथ ही जानेंगे कि इस दिन कौन से मंत्रों का जाप करना शुभ माना जाता है।

गुरु पूर्णिमा का महत्व...

गुरु पूर्णिमा को व्यास पूर्णिमा भी कहा जाता है।  जानकारी के अनुसार महर्षि वेद व्यास को वेदों का ज्ञान भी था।  हिंदू धर्म में महर्षि वेद व्यास को सात चिरंजीवियों में से एक माना जाता है यानी वे अमर हैं और आज भी जीवित हैं।  धार्मिक ग्रंथों में महर्षि वेद व्यास को भगवान विष्णु का रूप बताया गया है। मान्यता के अनुसार, इस दिन पूजा पाठ करने और व्रत रखने से कुंडली में गुरु दोष और पितृदोष खत्म हो जाते हैं।  साथ ही नौकरी, बिजनेस या करियर में लाभ मिलता है।

गुरु पूर्णिमा शुभ मुहूर्त

तिथि प्रारंभ- 13जुलाई, सुबह करीब 4बजे से

तिथि समापन- 14जुलाई को देर रात 12बजकर 6मिनट पर

गुरु पूर्णिमा पर शुभ संयोग

इस बार आषाढ़ पूर्णिमा के दिन राजयोग बन रहा है। जानकारी के अनुसार इस बार पूर्णिमा पर गुरु, मंगल, बुध और शनि ग्रह के संयोग से 4 शुभ योग यानी रुचक, शश, हंस और भद्र योग बन रहे हैं।

इस दिन करें इन नियम का पालन

गुरु पूर्णिमा के दिन सुबह जल्दी उठ कर पवित्र नदी में स्नान करना चाहिए या नहाने के पानी में गंगा जल छिड़क कर स्नान करना चाहिए।  इसके बाद साफ-सुथरे वस्त्र धारण करने चाहिए।  घर के मंदिर या पूजा स्थल की साफ-सफाई करनी चाहिए और गंगा जल छिड़कना चाहिए।  इसके बाद गुरु का स्मरण करना और भगवान विष्णु की पूजा करनी चाहिए।