क्रिकेट में हाल के दिनों में बल्लेबाजों को ज्यादा तब्बजो दी जाने लगी है। हालांकि इस खेल में गेंदबाजा उतने ही महत्वपूर्ण हैं जितने की बल्लेबाज। खास कर के टेस्ट क्रिकेट में। दुनिया के कई गेंदबाजों ने अपने दम पर अपनी टीम को टेस्ट सीरीज जीताई है। कई इतिहास भी रचे हैं। ऐसा ही एक गेंदबाज थे इंग्लैंड के जिम लेकर। भला कौन सोच सकता है कि क्रिकेट इतिहास में एक टेस्ट मैच ऐसा भी खेला गया जिसमें एक अकेले खिलाड़ी ने विरोधी टीम के कुल 20 में से 19 विकेट हासिल कर लिए। हालांकि इंग्लैंड के दिग्गज स्पिनर जिम लेकर ने ये कारनामा किया है। उन्होंने 31 जुलाई के दिन 1956 में ये असाधारण और ऐतिहासिक प्रदर्शन किया था।
ये मैच इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया के बीच ये मैच 26 से 31 जुलाई तक मैनचेस्टर में खेला गया था। इंग्लैंड ने इस मैच में पहले बल्लेबाजी की और पहली पारी में 459 रनों का मजबूत स्कोर खड़ा कर दिया। इसमें ओपनर पीटर रिचर्डसन ने 104 और तीसरे नंबर के बल्लेबाज डेविड शेफर्ड ने 113 रनों की शतकीय पारियां खेलीं। पीटर के साथी ओपनर कोलिन काउड्रे के बल्ले से 80 रनों की धमाकेदार पारी निकली।
रन बनाने का सिलसिला इसके आगे भी जारी रहा और कप्तान पीटर मे ने 43 जबकि विकेटकीपर बल्लेबाज गोडफ्रे इवांस ने 47 रन बनाए। ऑस्ट्रेलिया के लिए इयान जॉनसन ने 4 विकेट लिए। जवाब में ऑस्ट्रेलियाई पारी पर इंग्लैंड के स्पिनर जिम लेकर कहर बनकर टूटे। पूरी टीम 40.4 ओवर में सिर्फ 84 रनों पर ढेर हो गई। इस पारी में लेकर ने 16.4 ओवर में 4 मेडन फेंकते हुए 37 रन देकर नौ विकेट हासिल किए। एक विकेट टोनी लॉक के नाम रहा। ऑस्ट्रेलिया की इस पारी में ओपनर कोलिन मैक्डोनाल्ड ने 32 रन बनाए तो दूसरे ओपनर जिम बर्क ने 22 रनों की पारी खेली।
ऑस्ट्रेलिया के बाकी के बल्लेबाज दहाई का आंकड़ा नहीं छू सके। चार तो खाता तक नहीं खोल पाए। ऑस्ट्रेलिया को फॉलोऑन दिया गया और इस बार टीम 205 रनों पर सिमटी। लेकिन कमाल की बात ये रही कि जिम लेकर को पिछली पारी में जो एक विकेट नहीं मिल सका था वो उन्होंने इस बार किसी और के हाथ नहीं लगने दिया और पूरे के पूरे दस विकेट हासिल किए। लेकर ने 51.2 ओवर की गेंदबाजी की जिसमें 23 मेडन फेंकते हुए 53 रन देकर दस विकेट चटकाए। इस मैच में ऑस्ट्रेलिया को 170 रन से हार मिली।