नारी को निरंतर मानव रचना का वरदान प्राप्त है। महिलाओं को इस क्रम विकास के चक्र में तीन दिन एक तरह की पीड़ा से गुजरना पड़ता है जिसे आम बोलचाल की भाषा में मासिकधर्म या पीरियड्स कहा जाता है। पुरुषों के लिए इसे समझना कठिन है। महिलाओं के लिए महीने के ये वो तीन दिन हैं जब उन्हें अपने अंदर के बदलाव को महसूस करना होता है।