चीन से निकल कर दुनिया भर में तबाही मचाने वाले कोरोना वायरस की उत्पत्ति का पता लगाने में चुटा अमेरिका अब ड्रैगन के खिलाफ किसी भी हालत में नरमी बरतने के मूड में नहीं है। अमेरिकी वेदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकेन ने कोरोना वायरस के लिए चीन को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा है कि अगर भविष्य में इस तरह की महामारी से बचना है तो इसकी तह तक जाना होगा। इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि, चीन ने अब तक उस तरह से जांच नहीं करने दे रहा, जैसी जांच होनी चाहिए थी।
अपने एक इंडरव्यू के दौरान ब्लिंकेन ने कहा कि, 'इसकी (कोरोना) की तह तक जाने के पीछे सबसे बड़ी वजह यह है कि यही एक तरीका है जिससे हम अगली महामारी से बच सकते हैं या इसे खत्म करने के लिए बेहतर प्रयास कर सकते हैं।' ब्लिंकेन ने कहा, 'वायरस को लेकर चीन वैसी पारदर्शिता नहीं बरत रहा और न ही उस तरह की जानकारी दे रहा है, जैसी इसकी जांच के लिए जरूरी है।' ब्लिंकेन ने कहा कि बीजिंग अंतरराष्ट्रीय जांचकर्ताओं को एंट्री दे और उन्हें हर जरूरी जानकारी भी मुहैया कराए।
बताते चलें कि, कोरोना वायरस की जांच को लेकर चीन लगातार आलोचनाओं के घेरे में है। बीते महीने वॉशिंगटन पोस्ट ने अमेरिकी खुफिया रिपोर्ट के हवाले से खबर छापी थी, जिसके मुताबिक कोरोना महामारी का पहला मामला दर्ज होने से एक महीना पहले ही चीन की वुहान लैब के कुछ शोधकर्ता बीमार पड़े थे। इनमें कोरोना जैसे लक्षण थे और इन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
वहीं, पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप तो इसे चीनी वायरस कहते हैं, उन्होंने हाला ही में कहा था कि, अमेरिका और सभी देशों को कोरोना महामारी की वजह से हुए नुकसान के लिए चीन से मुआवजा मांगना चाहिए। सबको एक आवाज में यह कहना चाहिए कि चीन को क्षतिपूर्ति करनी होगी। इसके साथ ही, अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने भी बीते महीने खुफिया एजेंसियों से कहा कि वह कोरोना वायरस की उत्पत्ति की जांच को लेकर प्रयास और तेज करें। बाइडन ने एजेंसियों को कहा है कि 90 दिन के भीतर वायरस की उत्पत्ति स्थल का पता करके रिपोर्ट दें।