पाकिस्तान को अगले साल भीषड़ रसोई गैस संकट से जूझना पड़ सकता है। इसके चलते वहां के अधिकांश घरों में चूल्हा नहीं जलने की नौबत आ सकती है। इसके पीछे इमरान सरकार की लापरवाही ही कहा जा सकता है क्योंकि उसने अपने लोगों के लिए गैस खरीदने में कोई दिलचस्पी नहीं दिखाई।
पाकिस्तान में <a href="https://hindi.indianarrative.com/world/interpol-terrorist-groups-engaged-in-spreading-their-influence-by-spreading-corona-virus-22153.html" target="_blank" rel="noopener noreferrer">गैस की आपूर्ति करने वाली कंपनी सुई नॉर्दन गैस</a> की कमी का सामना कर रही है। मिली जानकारी के मुताबिक, आने वाले दिनों में वहां गैस की किल्लत ज्यादा हो जाएगी। ऐसे में कंपनी के पास गैस की आपूर्ति रोकने के अलावा कोई विकल्प नहीं होगा।
मिली जानकारी के मुताबिक, पाकिस्तान में 4 से 20 जनवरी के बीच गैस की कमी सबसे ज्यादा रहेगी। इसके चलते लोगों को खासी परेशानी का सामना करना पड़ सकता है। ऐसा इसलिए होगा क्योंकि सुई नॉर्दन आगामी कुछ दिनों में 500 मिलियन स्टैंडर्ड क्यूबिक फुट प्रतिदिन गैस की कमी से जूझेगी। इसे देखते हुए कंपनी पावर सेक्टर को गैस आपूर्ति रोक सकती है, लेकिन इससे भी घरेलू उपभोक्ताओं की परेशानी दूर नहीं होगी। इस कारण वहां नए साल के मौके पर अधिकांश लोगों के घरों में चूल्हा नहीं जलेगा।
जानकारों का कहना है कि इमरान खान सरकार ने समय से गैस नहीं खरीदी थी, जिसकी वजह से संकट गहरा गया है।पाकिस्तानी अधिकारियों ने बताया कि उर्वरक सहित कुछ उद्योगों के लिए पहले ही गैस की आपूर्ति रोक दी गई है। यहां स्थिति और इसलिए भी बिगड़ गई है क्योंकि नाइजीरिया से गैस लेकर आ रहे टैंकरों ने भी देरी किया है। गैस की आपूर्ति बाधित होने से खासकर पंजाब के लोगों को सबसे ज्यादा परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। सरकार अब उद्योगों की गैस रोककर लोगों के घरों में आपूर्ति कर रही है।.