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इमरान खान के दिल में Pakistan नहीं Taliban बसता है- दुनिया के सामने फैलाया हाथ

इमरान खान के दिल में Pakistan नहीं Taliban बसता है

अफगानिस्तान में तालिबान के कब्जा के बाद से सबसे ज्यादा खुश पाकिस्तान और चीन हैं, दोनों ही देश अफगानिस्तान की धरती का भारत के खिलाफ गलत इस्तेमाल करने की फिराक में है। अब पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान खुलकर तालिबान के समर्थन में आ गए हैं। और जमक बयानबाजी कर रहे हैं। ऐसा लग रहा है कि तालिबान इमरान खान के दिल की धड़कन बन गया है। तभी तो वो दुनिया से ताबिबान सरकार के लिए मदद मांग रहे हैं।

इमरान खान ने शनिवार को कहा कि दुनिया को मानवीय जरूरतों को पूरा करने के लिए अफगानिस्तान के साथ जुड़ना चाहिए और युद्धग्रस्त देश में शरणार्थी संकट को रोकने के लिए आर्थिक स्थिरता प्रदान करनी चाहिए। पाकिस्तान तो पहले ही तालिबान शासन को मान्यता दे दी है अब तो पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी के चीफ फैज हामिद भी इस वक्त काबुल में डेरा जमाए हुए हैं।

इमरान खान ने संयुक्त राष्ट्र के महासचिव एंतोनियो गुतारेस के साथ टेलीफोन पर बात की और दोनों नेताओं ने मानवीय स्थिति पर विशेष ध्यान देने के साथ साथ अफगानिस्तान के घटनाक्रम पर चर्चा की। पाकिस्तान प्रधानमंत्री कार्यालय की ओर से जारी एक बयान में कहा गया है कि, इमरान खान ने मानवीय जरूरतों को पूरा करने और आर्थिक स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए अंतरराष्ट्रीय समुदाय के अफगानिस्तान के साथ और अधिक जुड़ाव की आवश्यकता को रेखांकित किया।

इसके आगे उन्होंने कहा कि, इस तरह के कदम न केवल सुरक्षा मजबूत होगी बल्कि अफगानों का उनके देश से बड़े पैमाने पर पलायन भी रुकेगा। इस प्रकार अफगानिस्तान से पैदा होने वाले शरणार्थी संकट को रोका जा सकेगा। उन्होंने अफगानिस्तान में शांति, स्थिरता और एक समावेशी राजनीतिक समाधान के महत्व पर बात की।

इनरान खान ने यह भी कहा कि, यह अफगानिस्तान में 40 साल से जारी संकट पर पूर्ण लगाने का अवसर है। स्थायी शांति, सुरक्षा और समृद्धि हिसल करने में अफगानों की मदद करके इस अवसर को भुनिया जाना चाहिए। इमरान खान उसी तालिबान की तारीफ कर रहे हैं, जो बंदू की नोक पर जमकर तबाही मचा रहा है। जो महिलाओं को सरेआम गोली मार दे रहा है, यहां तक तालिबान ने उन महिलाओं के प्रदर्शन को रोक दिया है जो अपनी मांगों के लेकर निकली थी। उन पर तालिबान ने हमला भी किया है।