काबुल पर फहराते तालिबानी परचम को देख कर पाकिस्तान के नेता अब सच कबूल करने लगे हैं। यह भी हो सकता है कि वो अफगानिस्तान में काबुल की सरकार बनने का श्रेय खुद लेना चाहते हों। सच जो भी है वो सामने आने लगा है। पाकिस्तान सरकार के गृह मंत्री शेख रशीद ने एक टीवी चैनल पर ऑन कैमरा कबूल किया है कि तालिबान को यहां तक पहुंचाने में पाकिस्तान का ही हाथ है। शेख रशीद ने पाकिस्तान के ‘हम’टीवी चैनल के एक कार्यक्रम में कहा कि इमरान खान की सरकार ने तालिबान के लिए वो सब कुछ किया है जो उनके लिए जरूरी था। शेख रशीद ने पाकिस्तान को तालिबान का ‘संरक्षक’तक बता डाला है।
पाकिस्तान के आंतरिक (गृह) मंत्री राशिद ने हम न्यूज के कार्यक्रम 'ब्रेकिंग प्वाइंट विद मलिक' पर कहा, 'हम तालिबान नेताओं के संरक्षक हैं। हमने लंबे समय तक उनकी देखभाल की है। उन्हें पाकिस्तान में आश्रय, शिक्षा और घर मिला। हमने उनके लिए सब कुछ किया है।' शेख रशीद से पहले पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने भी 28अगस्त को कहा था कि इस्लामाबाद अफगानिस्तान को समर्थन देने के लिए रचनात्मक भूमिका निभाता रहेगा।
ध्यान रहे, अफगानिस्तान में तालिबान को फिर से जिंदा करने में जान लगा दी है। हथियारों से लेकर सुरक्षित आश्रय प्रदान करने में पाकिस्तान ने तालिबान की जमकर मदद की है। तालिबान और पाकिस्तान सरकार के बीच को-ऑर्डिनेशन आईएसआई ने किया। तालिबान और पाकिस्तान की गलबहियां के और भी सबूत सामने आए हैं, जब कंधार में आईएसआई चीफ हमीद फैज ने कंधार में तालिबानी नेताओं से मुलाकात की थी।