गिलगित बाल्टिस्तान (जीबी) में चुनाव कराने की जिद पर अड़े इमरान खान को भारी विरोध का सामना करना पड़ रहा है। इमरान सरकार के इस कदम के खिलाफ कराची से लेकर गुलाम कश्मीर (पीओके) के कई इलाकों में लोग हजारों की संख्या में सड़कों पर उतर रहे हैं। कहीं मशाल जुलूस तो कहीं मोर्चाबंदियां हो रही हैं।
इसके अलावा पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) की उपाध्यक्ष मरियम नवाज ने इमरान को सत्ता से उखाड़ फेंकने के लिए 18 अक्टूबर को विपक्षी दलों की एक साझा रैली बुलाई है। ध्यान रहे, पाकिस्तान के 11 प्रमुख विपक्षी दलों ने बीते 20 सितंबर को पाकिस्तान डेमोक्रेटिक मूवमेंट (पीडीएम) के गठन कर और तीन चरणों में सरकार विरोधी अभियान छेड़ने की घोषणा की थी। जिसमें जनसभाओं, विरोध प्रदर्शनों और रैलियों भी शामिल हैं।
इमरान सरकार के खिलाफ पहली रैली पंजाब प्रांत के गुजरांवाला में 16 अक्टूबर को होगी, जिसके बाद कराची में 18 अक्टूबर को, क्वेटा में 25 अक्टूबर को, 22 नवंबर को पेशावर में, 30 नवंबर को मुल्तान में और 13 दिसंबर को लाहौर में रैली आयोजित की जाएगी। पूर्व प्रधानमंत्री और वरिष्ठ पीएमएल-एन नेता शाहिद खाकान अब्बासी ने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की बेटी मरियम 18 अक्टूबर को रैली को संबोधित करेंगी। अब्बासी ने कहा, ‘‘वह रैली को संबोधित करेंगी। अब सरकार के खिलाफ माहौल बन गया है और यह देश के मौजूदा हालात पर लोगों के गुस्से की झलक है।’’ उन्होंने कहा कि रैली में मरियम की मौजूदगी से पीडीएम में जनता का विश्वास बढ़ेगा।.