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Made in China स्मार्ट फोन पर मोदी सरकार की टेढ़ी नजर, प्री इंस्टॉल ऐप्स से जासूसी कराने का शक

courtesy google

चीन अपनी हरकतों से बाज नहीं आ रहा हैं। अब अपने स्मार्ट फोन के जरिए भारत की जासूसी करने पर उतर आया हैं। जिसके चलते भारत ने चीन की मोबाइल कंपनियों पर सख्ती करनी शुरु कर दी है। दरअसल, चीन अपने स्मार्टफोन्स और उनमें इंस्टॉल किए गए ऐप से भारतीय यूजर्स की जासूसी कर रहा हैं। इसी को लेकर भारत एक नया नियम लाने पर विचार कर रहा है। एक रिपोर्ट के मुताबिक, नए नियम के तहत हैंडसेट्स के टियर-डाउन और इन-डेप्थ टेस्टिंग जरूरी की जा सकती है।

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चीनी स्मार्टफोन ब्रांड्स से पूछताछ

मोदी सरकार ने चीनी स्मार्टफोन ब्रांडों को नोटिस भेजकर फोन में इस्तेमाल किए गए डेटा और पार्ट्स की जानकारी मांगी है। रिपोर्ट के मुताबिक, वीवो, ओप्पो, श्याओमी और वनप्लस जैसे चीनी ब्रांड से पूछताछ की जा रही हैं। इन ब्रांड्स की भारतीय बाजार में 50% से ज्यादा हिस्सेदारी है। इसलिए पूछताछ में ये पता चलाया जा रहा हैं कि ये चीनी स्मार्टफोन भारतीय उपभोक्ताओं के लिए सुरक्षित हैं या नहीं। वहीं एक्सपर्ट्स की मानें तो भारत में चीनी कंपनियों के खिलाफ बड़ी कार्रवाई हो सकती हैं।

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साइबर जासूसी की होगी जांच!

आपको बता दें कि सरकार टेलिकॉम इक्विपमेंट और नेटवर्किंग प्रोडक्ट्स के सूत्रों और कंपनियों की एक लिस्ट तैयार कर रही है। जिसके बाद इनपर साइबर जासूसी की जांच की जाएगी। माना जा रहा है कि सरकार ने ये कदम चीन की बड़ी कंपनियों जैसे हुवावे और जेडटीआई को टेलिकॉम नेटवर्किंग के संवेदनशील क्षेत्रों से दूर रखने के लिए उठाया है। रिपोर्ट में कहा गया है कि न केवल हार्डवेयर बल्कि सॉफ्टवेयर विवरण, विशेष रूप से चीनी स्मार्टफोन पर पहले से इंस्टॉल किए गए ऐप भी जांच के दायरे में आ सकते हैं।

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दहशत में चीन

आपको बता दें कि साल 2020 में भारत में सिक्योरिटी को ध्यान में रखते हुए 200 से ज्यादा चीनी ऐप्स पर प्रतिबंध लगाकर कदम उठाया था। ऐसे में नोटिस के बाद चीनी ब्रांड कथित तौर पर कुछ दहशत में हैं। चीन कई सवालों का डर सता रहा हैं, जैसे- जांच कैसे की जाएगी और इसके बाद और क्या कदम उठाए जा सकते हैं, इसे लेकर तस्वीर साफ नहीं है।